Comments - दुर्गा - लघुकथा – - Open Books Online2024-03-28T17:09:18Zhttp://openbooksonline.com/profiles/comment/feed?attachedTo=5170231%3ABlogPost%3A949744&xn_auth=noहार्दिक आभार आदरणीय बृजेश कु…tag:openbooksonline.com,2018-10-04:5170231:Comment:9518862018-10-04T03:27:17.817ZTEJ VEER SINGHhttp://openbooksonline.com/profile/TEJVEERSINGH
<p>हार्दिक आभार आदरणीय <span> </span><a href="http://www.openbooksonline.com/profile/brijeshkumar" class="fn url">बृजेश कुमार 'ब्रज'</a> जी।</p>
<p>हार्दिक आभार आदरणीय <span> </span><a href="http://www.openbooksonline.com/profile/brijeshkumar" class="fn url">बृजेश कुमार 'ब्रज'</a> जी।</p> बड़ी अच्छी लघु कथा लिखी है आदर…tag:openbooksonline.com,2018-09-29:5170231:Comment:9511362018-09-29T13:22:43.502Zबृजेश कुमार 'ब्रज'http://openbooksonline.com/profile/brijeshkumar
<p>बड़ी अच्छी लघु कथा लिखी है आदरणीय...</p>
<p>बड़ी अच्छी लघु कथा लिखी है आदरणीय...</p> हार्दिक आभार आदरणीय नीलम जी।tag:openbooksonline.com,2018-09-28:5170231:Comment:9506262018-09-28T03:51:10.233ZTEJ VEER SINGHhttp://openbooksonline.com/profile/TEJVEERSINGH
<p>हार्दिक आभार आदरणीय नीलम जी।</p>
<p>हार्दिक आभार आदरणीय नीलम जी।</p> हार्दिक आभार आदरणीय विजय निको…tag:openbooksonline.com,2018-09-28:5170231:Comment:9505732018-09-28T03:50:32.245ZTEJ VEER SINGHhttp://openbooksonline.com/profile/TEJVEERSINGH
<p>हार्दिक आभार आदरणीय विजय निकोरे जी।</p>
<p>हार्दिक आभार आदरणीय विजय निकोरे जी।</p> आदरणीय तेजवीर सिंह जी, नमस्क…tag:openbooksonline.com,2018-09-26:5170231:Comment:9503132018-09-26T10:44:49.026ZNeelam Upadhyayahttp://openbooksonline.com/profile/NeelamUpadhyaya
<p>आदरणीय तेजवीर सिंह जी, नमस्कार। बहुत ही अच्छी लघुकथा हुई है। बधाई स्वीकार करें ।</p>
<p>आदरणीय तेजवीर सिंह जी, नमस्कार। बहुत ही अच्छी लघुकथा हुई है। बधाई स्वीकार करें ।</p> आपकी लघुकथा बहुत ही अच्छी लगी…tag:openbooksonline.com,2018-09-26:5170231:Comment:9502352018-09-26T09:54:16.719Zvijay nikorehttp://openbooksonline.com/profile/vijaynikore
<p>आपकी लघुकथा बहुत ही अच्छी लगी, आदरणीय तेज वीर सिंह जी। हार्दिक बधाई।</p>
<p>आपकी लघुकथा बहुत ही अच्छी लगी, आदरणीय तेज वीर सिंह जी। हार्दिक बधाई।</p> हार्दिक आभार आदरणीय समर क़बीर…tag:openbooksonline.com,2018-09-24:5170231:Comment:9499022018-09-24T12:36:46.313ZTEJ VEER SINGHhttp://openbooksonline.com/profile/TEJVEERSINGH
<p>हार्दिक आभार आदरणीय समर क़बीर साहब जी।आदाब।</p>
<p>हार्दिक आभार आदरणीय समर क़बीर साहब जी।आदाब।</p> जनाब तेजवीर सिंह जी आदाब,अच्छ…tag:openbooksonline.com,2018-09-24:5170231:Comment:9500372018-09-24T06:45:33.356ZSamar kabeerhttp://openbooksonline.com/profile/Samarkabeer
<p>जनाब तेजवीर सिंह जी आदाब,अच्छी लघुकथा लिखी आपने,इस प्रस्तुति पर बधाई स्वीकार करें ।</p>
<p>जनाब तेजवीर सिंह जी आदाब,अच्छी लघुकथा लिखी आपने,इस प्रस्तुति पर बधाई स्वीकार करें ।</p> हार्दिक आभार आदरणीय शेख उस्मा…tag:openbooksonline.com,2018-09-23:5170231:Comment:9496722018-09-23T05:47:04.730ZTEJ VEER SINGHhttp://openbooksonline.com/profile/TEJVEERSINGH
<p>हार्दिक आभार आदरणीय शेख उस्मानी जी।</p>
<p>हार्दिक आभार आदरणीय शेख उस्मानी जी।</p> ऐसा भी होता तो है। विदेश में…tag:openbooksonline.com,2018-09-23:5170231:Comment:9498392018-09-23T04:36:10.831ZSheikh Shahzad Usmanihttp://openbooksonline.com/profile/SheikhShahzadUsmani
<p>ऐसा भी होता तो है। विदेश में सेटल मेरी एक पूर्व स्टूडेंट की आया ने चोरी कर उसे क़त्ल किया था। लेकिन ऐसी दुर्गायें भी होती हैं नाम सार्थक कर बेहद वफादार। हार्दिक बधाई इस रचना के लिए, आदरणीय तेजवीर सिंह साहिब।</p>
<p>ऐसा भी होता तो है। विदेश में सेटल मेरी एक पूर्व स्टूडेंट की आया ने चोरी कर उसे क़त्ल किया था। लेकिन ऐसी दुर्गायें भी होती हैं नाम सार्थक कर बेहद वफादार। हार्दिक बधाई इस रचना के लिए, आदरणीय तेजवीर सिंह साहिब।</p>