• "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-184

    परम आत्मीय स्वजन,ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरे के 184 वें अंक में आपका हार्दिक स्वागत है | इस बार का मिसरा वरिष्ठ शायर ख़ुमार बाराबंकवी साहब की ग़ज़ल से लिया गया है।तरही मिसरा है:“इक बेवफ़ा का अहद-ए-वफ़ा याद आ गया”बह्र 221, 2121, 1221, 212 मफ़ऊलु फ़ायलात्, मफ़ाईलु, फ़ायलुन् है। रदीफ़ है ‘’याद आ गया’’ और…

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  • "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-179

    आदरणीय साहित्य प्रेमियो, जैसाकि आप सभी को ज्ञात ही है, महा-उत्सव आयोजन दरअसल रचनाकारों, विशेषकर नव-हस्ताक्षरों, के लिए अपनी कलम की धार को और भी तीक्ष्ण करने का अवसर प्रदान करता है. इसी क्रम में प्रस्तुत है : "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-179 विषय : "उजाला" आयोजन 11 अक्टूबर 2025, दिन शनिवार से 12…

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  • "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-126 (पहचान)

    आदरणीय साथियो,सादर नमन।."ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" में आप सभी का हार्दिक स्वागत है।प्रस्तुत है....."ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-126विषय : पहचानअवधि : 29-09-2025 से 30-09-2025.अति आवश्यक सूचना:-1. सदस्यगण आयोजन अवधि के दौरान अपनी केवल एक लघुकथा पोस्ट कर सकते हैं।2. रचनाकारों से निवेदन है कि अपनी…

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  • "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-183

    परम आत्मीय स्वजन,ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरे के 183 वें अंक में आपका हार्दिक स्वागत है | इस बार का मिसरा मशहूर शायर स्वर्गीय कुँवर बेचैन साहब की ग़ज़ल से लिया गया है।तरही मिसरा है:“जैसे बहते हुए पानी पे हो पानी लिखना”बह्र है फ़ायलातुन्, फ़ियलातुन्, फ़ियलातुन्, फ़यलुन् अर्थात् 2122 1122 1122 112 या…

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  • "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-178

    आदरणीय साहित्य प्रेमियो, जैसाकि आप सभी को ज्ञात ही है, महा-उत्सव आयोजन दरअसल रचनाकारों, विशेषकर नव-हस्ताक्षरों, के लिए अपनी कलम की धार को और भी तीक्ष्ण करने का अवसर प्रदान करता है. इसी क्रम में प्रस्तुत है : "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-178 विषय : "माँ" आयोजन 13 सितंबर 2025, दिन शनिवार से 14…

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  • "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-125 (आत्मसम्मान)

    आदरणीय साथियो,सादर नमन।."ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" में आप सभी का हार्दिक स्वागत है।प्रस्तुत है....."ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-125विषय : आत्मसम्मान अवधि : 30-08-2025 से 31-08-2025.अति आवश्यक सूचना:-1. सदस्यगण आयोजन अवधि के दौरान अपनी केवल एक लघुकथा पोस्ट कर सकते हैं।2. रचनाकारों से निवेदन है कि…

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  • "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-182

    परम आत्मीय स्वजन,ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरे के 182 वें अंक में आपका हार्दिक स्वागत है| इस बार का मिसरा मशहूर शायर अहमद फ़राज़ साहब की ग़ज़ल से लिया गया है।तरही मिसरा है:“तू भी तो कभी मुझ को मनाने के लिए आ”बह्र है मफ़ऊलु, मफ़ाईलु, मफ़ाईलु, फऊलुन् अर्थात् 221 1221 1221 122रदीफ़ है ‘’के लिये आ’’ और…

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  • "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-177

    आदरणीय साहित्य प्रेमियो, जैसाकि आप सभी को ज्ञात ही है, महा-उत्सव आयोजन दरअसल रचनाकारों, विशेषकर नव-हस्ताक्षरों, के लिए अपनी कलम की धार को और भी तीक्ष्ण करने का अवसर प्रदान करता है. इसी क्रम में प्रस्तुत है : "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-177 विषय : "रक्षा बंधन" आयोजन अवधि-09 अगस्त 2025, दिन…

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  • "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-124 (प्रतिशोध)

    आदरणीय साथियो,सादर नमन।."ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" में आप सभी का हार्दिक स्वागत है।प्रस्तुत है....."ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-124विषय : प्रतिशोधअवधि : 30-07-2025 से 31-07-2025.अति आवश्यक सूचना:-1. सदस्यगण आयोजन अवधि के दौरान अपनी केवल एक लघुकथा पोस्ट कर सकते हैं।2. रचनाकारों से निवेदन है कि अपनी…

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  • "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-181

    परम आत्मीय स्वजन,ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरे के 181 वें अंक में आपका हार्दिक स्वागत है | इस बार का मिसरा वरिष्ठ साहित्यकार स्वर्गीय गोपाल दास ‘नीरज’ जी की ग़ज़ल से लिया गया है।तरही मिसरा है:“तुझ को मुझ से इस समय सूने में मिलना चाहिए”बह्र है फ़ायलातुन्, फ़ायलातुन्, फ़ायलातुन्, फ़ायलुन् अर्थात् 2122 2122 2122…

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