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वीनस केसरी's Discussions (2,462)

Discussions Replied To (1993) Replies Latest Activity

"जी हाँ, अनाम इसलिए की मैं पूछ तो बहुत मगर  उसने कभी अपना नाम नहीं बताया  "

वीनस केसरी replied Apr 5, 2011 to "OBO लाइव महा उत्सव" अंक ६ (Now Closed)

449 Apr 7, 2011
Reply by Admin

"एक अनाम दोस्त के लिए... खुल के हंसा वो नाराज़ हो गया खंज़र की पैनी धार सा अंदाज़ हो ग…"

वीनस केसरी replied Apr 5, 2011 to "OBO लाइव महा उत्सव" अंक ६ (Now Closed)

449 Apr 7, 2011
Reply by Admin

"jai ho"

वीनस केसरी replied Apr 5, 2011 to "OBO लाइव महा उत्सव" अंक ६ (Now Closed)

449 Apr 7, 2011
Reply by Admin

"शुभकामनाओं सहित ...   "

वीनस केसरी replied Apr 3, 2011 to ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार का एक वर्ष का सफ़र : कैसा रहा आपका अनुभव..

31 Apr 18, 2011
Reply by Saurabh Pandey

"सभी को हार्दिक बधाई   वार्षिकोत्सव की क्या व्यवस्था है ? :)"

वीनस केसरी replied Apr 3, 2011 to ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार का एक वर्ष का सफ़र : कैसा रहा आपका अनुभव..

31 Apr 18, 2011
Reply by Saurabh Pandey

प्रधान संपादक

"आदरणीय योगराज जी प्रणाम, अभी अभी नशा टूटा तो देखा की मैंने नशे में क्या क्या गुल गड…"

वीनस केसरी replied Mar 18, 2011 to "OBO लाइव तरही मुशायरा" अंक-९ (रपट)

30 Apr 25, 2015
Reply by मिथिलेश वामनकर

"भईया मैं तो सरेंडर हो गया"

वीनस केसरी replied Mar 17, 2011 to "OBO लाइव तरही मुशायरा" अंक-९ ( Now Closed )

641 Mar 17, 2011
Reply by Er. Ambarish Srivastava

"अभी रंग लगवा लो भौजी वरना तब पछताओगी मयकशी और रंग का जब दुगुना नशा हो जायेगा ll अपन…"

वीनस केसरी replied Mar 17, 2011 to "OBO लाइव तरही मुशायरा" अंक-९ ( Now Closed )

641 Mar 17, 2011
Reply by Er. Ambarish Srivastava

"वाह जी, आप बड़ा खुस हो रहे हैं :?"

वीनस केसरी replied Mar 17, 2011 to "OBO लाइव तरही मुशायरा" अंक-९ ( Now Closed )

641 Mar 17, 2011
Reply by Er. Ambarish Srivastava

"पता लगाईये जी एक अदद तो हमारे पास भी होनी चाहिए    होली भी आए गई है :)"

वीनस केसरी replied Mar 17, 2011 to "OBO लाइव तरही मुशायरा" अंक-९ ( Now Closed )

641 Mar 17, 2011
Reply by Er. Ambarish Srivastava

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"हार्दिक आभार आदरणीय शेख शहज़ाद उस्मानी साहब जी। आपकी सार गर्भित टिप्पणी मेरे लेखन को उत्साहित करती…"
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"काल चक्र - लघुकथा -  "आइये रमेश बाबू, आज कैसे हमारी दुकान का रास्ता भूल गये? बचपन में तो…"
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Dayaram Methani replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-171
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"धन्यवाद आ. चेतन जी"
Sep 28
Aazi Tamaam replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-171
"आदरणीय ग़ज़ल पर बधाई स्वीकारें गुणीजनों की इस्लाह से और बेहतर हो जायेगी"
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Aazi Tamaam replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-171
"बधाई स्वीकार करें आदरणीय अच्छी ग़ज़ल हुई गुणीजनों की इस्लाह से और बेहतरीन हो जायेगी"
Sep 28

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