जंगे-आज़ादी के जांबाज़ सूरमा अमर बलिदानी राजगुरु के जन्म दिवस पर आज तिरंगे को सलाम करते हुए तीन कह-मुकरियां विनम्र श्रद्धांजलि के रूप में सादर समर्पित कर रहा हूँ
सब कुछ अपना हार गये वो
प्राण भी अपने वार गये वो
बिना किये कुछ भी उम्मीद
ऐ सखि साधु ? नहीं शहीद !
देशभक्ति का काम कर गये
अपने कुल का नाम कर गये
खौफ़ उन्हें न सका खरीद
ऐ सखि शायर ? नहीं शहीद
मुल्क हमारा हमें बचाना
गौरव इसका और बढ़ाना
हमें दे गये यह ताकीद
ऐ सखि गांधी ? नहीं शहीद
जयहिन्द !
-अलबेला खत्री
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आपका बहुत बहुत धन्यवाद आदरणीय
आपका बहुत बहुत धन्यवाद आदरणीय
मुल्क हमारा हमें बचाना
गौरव इसका और बढ़ाना
हमें दे गये यह ताकीद
ऐ सखि गांधी ? नहीं शहीद,अति सुंदर कह मुकरियाँ शहीदों के नाम ,शहीद राजगुरु के जन्म दिवस पर सभी शहीदों को मेरा नमन अलबेला जी ,जयहिंद
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