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धर्मेन्द्र कुमार सिंह's Discussions (2,689)

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"इतनी सुन्दर ग़ज़ल और हाइकु प्रस्तुत करने के लिए नवीन भाई को शत शत साधुवाद।"

धर्मेन्द्र कुमार सिंह replied Nov 5, 2010 to "OBO लाइव महा इवेंट" अंक-१ ( Now Close )

1215 Nov 11, 2010
Reply by योगराज प्रभाकर

"'सलिल' सार्थक जीवन तब ही जब औरों के कष्ट हरें. एक-दूजे के सुख-दुःख बाँटें इस धरती को…"

धर्मेन्द्र कुमार सिंह replied Nov 4, 2010 to "OBO लाइव महा इवेंट" अंक-१ ( Now Close )

1215 Nov 11, 2010
Reply by योगराज प्रभाकर

"नवगीत: दीप जलें दीप जलें इस बार, जहाँ हो सबसे ज्यादा तम। जहाँ जल रहे बल्ब, ट्यूबला…"

धर्मेन्द्र कुमार सिंह replied Nov 4, 2010 to "OBO लाइव महा इवेंट" अंक-१ ( Now Close )

1215 Nov 11, 2010
Reply by योगराज प्रभाकर

"बहुत ही मर्मस्पशी रचना। सच्चाई को शब्द दिए हैं आपने। बधाई।"

धर्मेन्द्र कुमार सिंह replied Nov 3, 2010 to "OBO लाइव महा इवेंट" अंक-१ ( Now Close )

1215 Nov 11, 2010
Reply by योगराज प्रभाकर

"पाँच दोहे: तेल पर तन मन जलकर तेल का, आया सबके काम। दीया बाती का हुआ, सारे जग में नाम…"

धर्मेन्द्र कुमार सिंह replied Nov 3, 2010 to "OBO लाइव महा इवेंट" अंक-१ ( Now Close )

1215 Nov 11, 2010
Reply by योगराज प्रभाकर

"एक और शानदार रचना आचार्य जी की कलम से।"

धर्मेन्द्र कुमार सिंह replied Nov 3, 2010 to "OBO लाइव महा इवेंट" अंक-१ ( Now Close )

1215 Nov 11, 2010
Reply by योगराज प्रभाकर

"बहुत सुन्दर आचार्य जी, कविता की सारी ही विधाओं में आप पारंगत हैं। इसमें कोई संदेह नह…"

धर्मेन्द्र कुमार सिंह replied Nov 3, 2010 to "OBO लाइव महा इवेंट" अंक-१ ( Now Close )

1215 Nov 11, 2010
Reply by योगराज प्रभाकर

"बहुत सुन्दर नवीन भाई, वाकई अगर थोड़ी सी कोशिश की जाए तो आधुनिक कविता में लय कायम रखी…"

धर्मेन्द्र कुमार सिंह replied Nov 3, 2010 to "OBO लाइव महा इवेंट" अंक-१ ( Now Close )

1215 Nov 11, 2010
Reply by योगराज प्रभाकर

"वाकई नवीन जी तजुर्बे का पर्याय नहीं। न जाने कितने अस्त्र शस्त्र हैं आचार्य जी के तरक…"

धर्मेन्द्र कुमार सिंह replied Nov 3, 2010 to "OBO लाइव महा इवेंट" अंक-१ ( Now Close )

1215 Nov 11, 2010
Reply by योगराज प्रभाकर

"बहुत सुन्दर रचना। वाकई मंत्रमुग्ध कर देने वाली है।"

धर्मेन्द्र कुमार सिंह replied Nov 3, 2010 to "OBO लाइव महा इवेंट" अंक-१ ( Now Close )

1215 Nov 11, 2010
Reply by योगराज प्रभाकर

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Sheikh Shahzad Usmani replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-122 (विषय मुक्त)
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अजय गुप्ता 'अजेय replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-122 (विषय मुक्त)
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अजय गुप्ता 'अजेय commented on Nilesh Shevgaonkar's blog post ग़ज़ल नूर की - मुक़ाबिल ज़ुल्म के लश्कर खड़े हैं
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