मतदाता बन तो गए किया ना मत प्रयोग
मत की महिमा जान लो चुनावी बना योग
चुनावी बना योग समय की कीमत जानो
करो सोच मतदान मत का मोल पहचानो
करना मत तुम लोभ करो जो मन को भाता
पहचानो अधिकार बन निर्भीक मतदाता
..............सरिता
............मौलिक व अप्रकाशित.............
Comment
आ. सरिता जी इस प्रयास हेतु हार्दिक बधाई.
कुंडलिया छंद पर सुन्दर प्रयास.......
आ0 सरिता भाटिया जी बहुत खूबसूरत कुण्डलिया बधाई आपको ।
आदरणीया कुंती दी हार्दिक आभार
शुक्रिया जितेन्द्र भाई
शुक्रिया अखिलेश सर ...सादर
आदरणीया मीना जी हार्दिक आभार
बहुत सुंदर लिखा है सरिता जी. हार्दिक बधाई.
बहुत बढ़िया सन्देश, बधाई आपको आदरणीया सरिता जी
आदरणीया सरिताजी
मतदाता को अच्छी सलाह दी , सुंदर छंद , हार्दिक बधाई
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