में अपने छोटे बेटे के साथ शहर में रहता हुI और मेरी घरवाली गाव में बड़े बेटे के साथ रहती हैI समय के अनुसार जायदाद के साथ साथ हमारा भी बंटवारा हो गयाI आज उसकी बहुत याद आ रही थीI फ़ोन में रिचार्ज खत्म होने की वजह से कई दिनों से उस से बात नहीं हो पाईI पिछले तीन दिनों से बेटे को बोल रहा थाI पर बेटे को ऑफिस में टाइम नहीं मिलने की वजह से रिचार्ज नहीं करवा पायाI आज भी में बेटे को ऑफिस जाते समय रिचार्ज याद दिला रहा थाI तभी बहु की पीछे से आवाज आई, बावजी - आप को कितनी बार बोला है ये जब ऑफिस जाते है तो पीछे से आवाज मत दिया करो, जब टाइम मिलेगा तो रिचार्ज करवा देंगेI में मन मसोज कर पोते के साथ टीवी पर कार्टून देखने लगाI थोड़ी देर बाद टीवी अचानक बंद हो गयाI पोता चिल्लाया तो बहु दौड़ कर आई और देखा तो पता चला टीवी का रिचार्ज खत्म हो गया हैI तुरन्त पति को फ़ोन किया और बोली - टीवी का रिचार्ज खत्म हो गया है, आप जल्दी से करवा देना नहीं तो मेरा सीरियल निकल जायेगाI थोड़ी देर बाद मेरे फ़ोन की घण्टी बजी, देखा तो बेटे का फ़ोन थाI बेटा - पापा वो फ़ोन इसलिए किया की उस का फ़ोन लग नहीं रहा थाI मेने रिचार्ज करवा दिया हैI में मन ही मन बेटे को धन्यवाद दे रहा था और कह रहा थाI की भगवान का शुक्र हैI आज मेरा रिचार्ज हो गयाI तभी बेटे की आवाज आई - पापा आप देखकर बताये की टीवी चालू हो गया है क्या? में बोला - हाँ बेटे टीवी तो चालू हो गया लेकिन इस में संस्कार चैंनल नदारद हैI
"मौलिक व अप्रकाशित"
Comment
होसला अफजाई के लिए आप का बहुत बहुत धन्यवाद
आ. श्याम जी
आ. राजकुमार जी ,धन्यवाद
सचमुच आज "संस्कार " नदारत हैं , सुन्दर कटाक्ष माननीय ओझा जी ! आदमी को मशीन में परिवर्तित होने में अब ज्यादा समय नहीं है !
लाजवाब रचना है बहुत बहुत बधाई आपको सादर |
सही बात है अमन जी, आप का आभार
संस्कार तो अब चेनल का ही नाम भर है !
संदेश अच्छा दिया आभार !
Dhanyawad sa pankaj ji
सुंदर
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