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pratibha pande's Discussions (4,607)

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"रचना पर सुन्दर स्नेहिल  टिपण्णी व् उत्साहवर्धन के लिए आपका हार्दिक आभार आदरणीया राजे…"

pratibha pande replied Jan 8, 2016 to "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-63

466 Jan 10, 2016
Reply by मिथिलेश वामनकर

"आदरणीया ममता जी ,उत्साहवर्धन के लिए आपका हार्दिक आभार "

pratibha pande replied Jan 8, 2016 to "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-63

466 Jan 10, 2016
Reply by मिथिलेश वामनकर

"आदरणीया कांता जी ,रचना  के अनुमोदन व् सराहना के लिए आपका हार्दिक आभार "

pratibha pande replied Jan 8, 2016 to "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-63

466 Jan 10, 2016
Reply by मिथिलेश वामनकर

" उत्साहवर्धन करती प्रतिक्रिया के लिए आपका हार्दिक आभार आदरणीय उस्मानी जी "

pratibha pande replied Jan 8, 2016 to "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-63

466 Jan 10, 2016
Reply by मिथिलेश वामनकर

"  हमें मालूम है लाइलाज नहीं है बीमारी ज़रूरी है समय रहते उचित इलाज ज़रूरी  है काटना  …"

pratibha pande replied Jan 8, 2016 to "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-63

466 Jan 10, 2016
Reply by मिथिलेश वामनकर

"खंजर लेकर बैठे हो तो, क्यों न चला देते।सौंप दिया है दिल तुमको लो, क्यों न मिटा देते।…"

pratibha pande replied Jan 8, 2016 to "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-63

466 Jan 10, 2016
Reply by मिथिलेश वामनकर

"सुखमय जीवन की सखा, सीधी-सी है रीत. मुख पर इक मुस्कान हो, नयनों में हो प्रीत. दिल की…"

pratibha pande replied Jan 8, 2016 to "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-63

466 Jan 10, 2016
Reply by मिथिलेश वामनकर

"खंजर विषय को अलग ही आयाम दे दिया है आपने ,बधाई इस सुन्दर रचना पर आदरणीय  Dr T R Suku…"

pratibha pande replied Jan 8, 2016 to "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-63

466 Jan 10, 2016
Reply by मिथिलेश वामनकर

"छन्न पकैया छन्न पकैया,उसकी आँखे ऐसीचाक़ू वाक़ू ,ख़ंजर वंजर,सब की ऐसी तेसी ........क्या…"

pratibha pande replied Jan 8, 2016 to "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-63

466 Jan 10, 2016
Reply by मिथिलेश वामनकर

"iस्मृतियों में डूबते  उभरते , सुख भरी यादों के साथ साथ जब जब धोखे की याद  कौंधती  है…"

pratibha pande replied Jan 8, 2016 to "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-63

466 Jan 10, 2016
Reply by मिथिलेश वामनकर

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सदस्य टीम प्रबंधन
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"बहुत सुंदर ग़ज़ल ... सभी अशआर अच्छे हैं और रदीफ़ भी बेहद सुंदर  बधाई सृजन पर "
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"आ. भाई अजय जी, सादर अभिवादन। परिवर्तन के बाद गजल निखर गयी है हार्दिक बधाई।"
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"आ. भाई नीलेश जी, सादर अभिवादन। बेहतरीन गजल हुई है। सार्थक टिप्पणियों से भी बहुत कुछ जानने सीखने को…"
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"आ. भाई नीलेश जी, सादर अभिवादन। सुंदर गजल हुई है। हार्दिक बधाई।"
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PHOOL SINGH posted a blog post

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