"चित्र से काव्य प्रतियोगिता" अंक-७ का शुभारम्भ भी संयोगवश श्री अम्बरीष श्रीवास्तव जी के कुण्डलिया छंद से ही हुआ ! तीन दिन तक चली इस प्रतियोगिता में "प्रतियोगिता के लिए" तथा "प्रतियोगिता से अलग" लगभग ३ दर्जन रचने प्रस्तुत की गईं जिन्हें मिलकर कुल ६५४ कमेंट्स/एंट्रीज़ रहीं ! काव्य की विभिन्न विधायों कुंडली, दोहा, हाईकु, गीत, ग़ज़ल, छन्दमुक्त कविता, सवय्या, कहमुकरी, घनाक्षरी छंद इत्यादि में दिए गए चित्र को बहुत ही सुन्दरता से परिभाषित किया गया ! श्री दिलबाग विर्क जी जोकि ब्लॉग जगत के जाने माने चेहरे हैं, उनका इस आयोजन के माध्यम से ओबीओ के साथ जुड़ना हमारे लिए गर्व की बात रही ! जिस तन्मयता से श्रीमती सिया सचदेव जी तथा श्री अविनाश बागडे जी इस दफा सरगर्म रहे , वह भी हर्ष का विषय रहा ! अन्य रचनाकारों की रचनायों पर श्री अश्विनी रमेश जी को टिप्पणियाँ देते देखना भी एक सुखद अनुभव रहा !
हर बार की तरह इस बार भी पाठक केवल कोरी वाहवाही तक ही सीमित नहीं रहे, बल्कि उन्होंने रचनायों पर दिल खोल कर न केवल टिप्पणियाँ ही दीं बल्कि रचनाकारों को उचित सुझाव भी दिए ! रचनायों पर इतनी विस्तृत और सारगर्भित टिप्पणियाँ देने का जो चलन ओबीओ से प्रारंभ हुआ उसे देखकर हर रचनाधर्मी मन प्रफुल्लित हो जाना स्वाभाविक है ! जिस प्रकार आदरणीय सौरभ पाण्डेय जी, श्री अम्बरीष श्रीवास्तव जी, श्री गणेश बाग़ी जी, संजय मिश्र हबीब जी एवं श्री बृज भूषण चौबे जी ने पूरे तीन दिन आयोजन को अपनी सारगर्भित टिप्पणियों से गतिमान रखा उसके लिए उन्हें कोटिश नमन ! छंद के जवाब में छंद कहना हरेक के बूते की बात नहीं, मगर श्री अम्बरीष श्रीवास्तव जी, श्री सौरभ पांडे जी एवं भाई संजय मिश्र हबीब जी ने जिस सहजता से यह काम किया वह हम सब के लिए गर्व का विषय है ! कहमुकरी विधा पर संजीदगी से काम करने के लिए भी भाई संजय मिश्र हबीब जी साधुवाद के पात्र हैं !
निजी व्यस्त्तयों के चलते मैं इस आयोजन में शरीक होने से वंचित रहा जिसका मुझे बेहद अफ़सोस है ! मैं इस आयोजन में सम्मिलित सभी रचनाकारों व पाठकों का दिल से शुक्रिया अदा करता हूँ जिन्होंने आयोजन को सफल बनाने में अपना बहुमूल्य योगदान दिया ! मैं सभी साथियों से एक गुज़ारिश भी करना चाहूँगा कि बहुत बेहतर होगा कि वे अपनी टिप्पणियाँ भी देवनागरी में ही दें, अंग्रेजी में दी गई प्रतिक्रियाएँ ज़रा अटपटी सी महसूस होती हैं !
अन्य में मैं ओबीओ के बाणी श्री गणेश बाग़ी जी एवं "चित्र से काव्य प्रतियोगिता" के संचालक भाई अम्बरीष श्रीवास्तव जी को इस कामयाब आयोजन की बधाई देता हूँ ! जय ओबीओ ! सादर !
योगराज प्रभाकर
(प्रधान सम्पादक)
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आदरणीय अम्बरीश भाई जी - दिल से आपका शुक्रिया अदा करता हूँ !
आदरणीय योगराज भईया, सादर नमन.
सचमच ओ बी ओ के आयोजन शिक्षा और आनंद के पर्याय हैं, जिसके लिए ओ बी ओ की पूरी टीम बधाई की पात्र है...
प्रतियोगिता के अंत में मेरा नेट कनेक्सन गधे की सिंग से होड़ लेने चला गया... सो मुझे भी मजबूरन अनुकरण करना पडा...
हर पहलु को समेटे हुए सार्थक रिपोर्ट के साथ आपकी उपस्थिति आनंद दे रही है...
सादर आभार... जय ओ बी ओ.
भाई संजय मिश्र जी, आप जिस तरह पूरे आयोजन में तन्मयता से सरगर्म रहे उसके लिए आपको साधुवाद देता हूँ ! अब रही बात गधे के सर के सींग की तो भाई, "मजबूरी का नाम .............. " :)))))) इसी मजबूरी की वजह से ही तो खुद मुझे गधे के सर का सींग बनना पड़ा था इस दफा ! आपने रिपोर्ट पसंद फरमाई, तह-ए-दिल से आपका शुक्रिया !
सुंदर रपट. जय ओ बी ओ !
सादर धन्यवाद आदरणीया शन्नो जी ! जय ओबीओ !
अरुण भाई जी, हिंदी में देवनागरी में लिखने के लिए मैंने "केवल अनुरोध" किया था ! मोबाईल से देवनागरी लिखना वाकई कठिन है ! पेज जम्प होने की समस्या के सन्दर्भ में निंग-नेटवर्क से चिट्ठी-पत्री चल रही है, आशा करनी चाहिए कि वो समस्या जल्द ही दूर होगी ! रपट पसंद फरमाने के लिए आपका कोटिश: आभार !
आपके सारगर्भित सम्पादकीय टिप्पणी से मन प्रसन्न हो जाता है, आदरणीय. यह एक ऐसा लेखा-जोखा होता है जो आयोजनों की घटनाओं के साथ-साथ रचनाकारों की प्रगति, संलग्नता तथा रचना-विकास को समक्ष रखता है. जिस तरह से ओबीओ के आयोजनों से उपस्थित रचनाकारों के रचना-कर्म में अपेक्षित सुधार हुआ है वह हर किसी के लिये --रचनाकार तथा पाठक दोनों-- के लिये संतोष की बात है.
आप जिस तरह से अयोजन के दौरान घटित-क्रम तथा पहलुओं के सभी पटल को छूते हुए आगे बढ़ते हैं यह अन्य लेखकों के लिये भी उदाहरण है.
सादर
आदरणीय सौरभ भाई जी,
काम में अति-व्यस्त होने की वजह से मुझे पूरे आयोजन से नदारद रहना पड़ा, जिसका मुझे बेहद अफ़सोस है ! इसलिए सभी रचनायों को संकलित कर तथा सम्पादकीय टिप्पणी को जल्द-ब-जल्द पोस्ट कर मैं उस अपराध बोध से मुक्त होना चाहता था ! आपको रपट पसंद आई तो मेरा श्रम सार्थक हुआ, ह्रदय से आपका आभारी हूँ !
सादर !
आदरणीय योगराज जी ओ बी ओ की पूरी टीम बधाई की पात्र है.इस कामयाब आयोजन की बधाई
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