For any Query/Feedback/Suggestion related to OBO, please contact:- admin@openbooksonline.com & contact2obo@gmail.com, you may also call on 09872568228(योगराज प्रभाकर)/09431288405(गणेश जी "बागी")

शुभ जन्मदिन ओ.बी.ओ.

जन्मदिन फिर से आया है

नए वसंत का हार लिए

कविता, गीत, मुक्तक, ग़ज़ल के

अनुपम सब उपहार लिए.

(2)

कहीं परिचर्चा, कहीं टिप्पणी

कहीं पर मुक्त विचार मिले

यह वह उपवन है जिसमें

शिक्षा का हर फूल खिले.

(3)

मन की भावना व्यक्त करना ही

शब्दों का खेल है

फिर भी देखो विचित्र विचारों का

यहाँ कैसा मेल है.

(4)

यहाँ अग्रज हैं, हैं अनुज भी

कहीं लेखनी साज़ है

मगर मंच पर लेखक-पाठक

सब की एक आवाज़ है.

(5)

नहीं विद्वेष, नहीं अवज्ञा

नहीं कोई व्यवधान यहाँ है

नए-पुराने, चलते-फिरते

सबको मिलता मान यहाँ है.

(6)

नहीं राजनीति, नहीं कटुता

स्वस्थ चिंतन पर ज़ोर यहाँ

है उच्छ्वास, उजास यहाँ है

नए सोच की भोर यहाँ.

(7)

हाथ बढ़ाकर, प्यार लुटाकर

हर अशुभ का दमन करें

जन्मदिन में ओ.बी.ओ. को

आओ हम सब नमन करें.

शरदिंदु/01.04.2016/(मौलिक व अप्रकाशित)

Views: 480

Comment

You need to be a member of Open Books Online to add comments!

Join Open Books Online


सदस्य टीम प्रबंधन
Comment by Saurabh Pandey on April 12, 2016 at 4:45pm

आदरणीय शरदिन्दु भाईजी, आपकी शुभकामनाओं से संतृप्त हुआ यह मंच आगे भी इसी तरह कार्यरत रहे .. 

सादर आभार

Comment by डॉ गोपाल नारायन श्रीवास्तव on April 3, 2016 at 4:06pm

आ० दादा  आपको बधाई  सुंदर रचना हेतु . यहाँ तो में  ही अग्रज हूँ और मेरे दो प्यारे अनुज हैं -आ० योगराज जी और भंडारी जी . दोनों का स्नेह मुझे प्राप्त् है और मैं उनसे मार्ग दर्शन प्राप्त करता हूँ . आ० सौरभ जी तो गुरुतुल्य हैं ही .  ओ बी ० ओ  को सातवे जन्मदिन  की भूरि भूरि बधायी . सादर .

Comment by vijay nikore on April 3, 2016 at 3:31pm

इस शुभ अवसर पर आपने बहुत सुन्दर रचना लिखी है। हार्दिक बधाई।

Comment by Rahila on April 2, 2016 at 10:27pm
बहुत बधाई इतनी सुन्दर प्रस्तुति के लिये आद. सर जी!सादर नमन

कृपया ध्यान दे...

आवश्यक सूचना:-

1-सभी सदस्यों से अनुरोध है कि कृपया मौलिक व अप्रकाशित रचना ही पोस्ट करें,पूर्व प्रकाशित रचनाओं का अनुमोदन नही किया जायेगा, रचना के अंत में "मौलिक व अप्रकाशित" लिखना अनिवार्य है । अधिक जानकारी हेतु नियम देखे

2-ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार यदि आपको अच्छा लगा तो अपने मित्रो और शुभचिंतको को इस परिवार से जोड़ने हेतु यहाँ क्लिक कर आमंत्रण भेजे |

3-यदि आप अपने ओ बी ओ पर विडियो, फोटो या चैट सुविधा का लाभ नहीं ले पा रहे हो तो आप अपने सिस्टम पर फ्लैश प्लयेर यहाँ क्लिक कर डाउनलोड करे और फिर रन करा दे |

4-OBO नि:शुल्क विज्ञापन योजना (अधिक जानकारी हेतु क्लिक करे)

5-"सुझाव एवं शिकायत" दर्ज करने हेतु यहाँ क्लिक करे |

6-Download OBO Android App Here

हिन्दी टाइप

New  देवनागरी (हिंदी) टाइप करने हेतु दो साधन...

साधन - 1

साधन - 2

Latest Blogs

Latest Activity

Tilak Raj Kapoor replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-182
"विगत दो माह से डबलिन में हूं जहां समय साढ़े चार घंटा पीछे है। अन्यत्र व्यस्तताओं के कारण अभी अभी…"
5 hours ago
Chetan Prakash replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-182
"प्रयास  अच्छा रहा, और बेहतर हो सकता था, ऐसा आदरणीय श्री तिलक  राज कपूर साहब  बता ही…"
5 hours ago
Chetan Prakash replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-182
"अच्छा  प्रयास रहा आप का किन्तु कपूर साहब के विस्तृत इस्लाह के बाद  कुछ  कहने योग्य…"
5 hours ago
Chetan Prakash replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-182
"सराहनीय प्रयास रहा आपका, मुझे ग़ज़ल अच्छी लगी, स्वाभाविक है, कपूर साहब की इस्लाह के बाद  और…"
5 hours ago
Chetan Prakash replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-182
"आपका धन्यवाद,  आदरणीय भाई लक्ष्मण धानी मुसाफिर साहब  !"
5 hours ago
Chetan Prakash replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-182
"साधुवाद,  आपको सु श्री रिचा यादव जी !"
5 hours ago
Chetan Prakash replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-182
"धन्यवाद,  आज़ाद तमाम भाई ग़ज़ल को समय देने हेतु !"
5 hours ago
Chetan Prakash replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-182
"आदरणीय तिलक राज कपूर साहब,  आपका तह- ए- दिल आभारी हूँ कि आपने अपना अमूल्य समय देकर मेरी ग़ज़ल…"
5 hours ago
surender insan replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-182
"जी आदरणीय गजेंद्र जी बहुत बहुत शुक्रिया जी।"
6 hours ago
लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-182
"आ. भाई दयाराम जी, सादर अभिवादन। अच्छी गजल हुई है। हार्दिक बधाई।"
6 hours ago
surender insan replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-182
"आदरणीया ऋचा जी ग़ज़ल पर आने और हौसला अफ़जाई के लिए बहुत बहुत शुक्रिया जी।"
6 hours ago
Chetan Prakash commented on गिरिराज भंडारी's blog post ग़ज़ल - चली आयी है मिलने फिर किधर से ( गिरिराज भंडारी )
"खूबसूरत ग़ज़ल हुई आदरणीय गिरिराज भंडारी जी । "छिपी है ज़िन्दगी मैं मौत हरदम वो छू लेगी अगर (…"
6 hours ago

© 2025   Created by Admin.   Powered by

Badges  |  Report an Issue  |  Terms of Service