For any Query/Feedback/Suggestion related to OBO, please contact:- admin@openbooksonline.com & contact2obo@gmail.com, you may also call on 09872568228(योगराज प्रभाकर)/09431288405(गणेश जी "बागी")

खुशियाँ और गम, ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार के संग...

ओपन बुक्स ऑनलाइन के सभी सदस्यों को प्रणाम, बहुत दिनों से मेरे मन मे एक विचार आ रहा था कि एक ऐसा फोरम भी होना चाहिये जिसमे हम लोग अपने सदस्यों की ख़ुशी और गम को नजदीक से महसूस कर सके, इसी बात को ध्यान मे रखकर यह फोरम प्रारंभ किया जा रहा है, जिसमे सदस्य गण एक दूसरे के सुख और दुःख की बातो को यहाँ लिख सकते है और एक दूसरे के सुख दुःख मे शामिल हो सकते है |

धन्यवाद सहित
आप सब का अपना
ADMIN
OBO

Views: 72730

Reply to This

Replies to This Discussion

आ. प्रतापगढ़ में इसे चोटहिया जलेबी के नाम से जाना जाता है.

सादर

भाई गणेश बाग़ीजी, आज ही बलिया से वापस इलाहाबाद ’चहुँपा’ हूँ. गुड़ही ’जबेली’ का कहाँ कोई जवाब है ! बरबस जीभ नलका हुई जाती है.. :-))
वैसे बलिया के पूरे क्षेत्र में सवेरे-सवेरे खूब घना कुहरा हो रहा है. सो फुटेहरी-चोखा का मौसम निकहा जोर पर है.  :-))

अगर इलाहबाद "चोहुँपे" हैं तो "जबेली" ही तो मिलेगी हुज़ूर !!! :) 

हा हा हा...
आदरणीय योगराजभाईजी,
ईहे त भोजपुरिया लकम है, साहिब.. जे उलटे बँसुरिये को बाँस बना देता है..
हा हा हा हा....

काहे करते हो हो-हल्ला ! योगी कहता है ये लल्ला
अपनी खातिर यही मिठाई। बागी ने ठोकी चौपाई 

बागी खायें लिट्टी-चोखा । मगर ’जबेली’ लाये नोखा ॥
तेलही-गुड़ही चिकट 'जबेली' । मुँह-मिट्ठा कर मस्ती खेली ॥
चौपाई की धार निराली । योगी गायें दे दे ताली ॥
अपनो के दम दिल जीता है । बहुत मुबारक दिन बीता है ॥

चहुंपे सौरभ छकें जबेली। खूब गणेशी की अठखेली
सबको बाँटी गुड़हि मिठाई। खाली थाली मुझे थमाई      

रसगुल्ला तो खुद ही खाया, तकते रहे न हमें बुलाया,
आज न देंगे गुड़ही मिठाई, मिल खायेंगे दोनों भाई।

खूब खिलायें हमें गनेसी । जनमदिवस पर गुड़ही देसी ॥
सब मिल-बाँटें सब मिल खायें । शुभ-शुभ बोलें शुभ-शुभ पायें ॥
:-))

सौरभ जी, आपके हिस्से की जबेली तो योगराज भाई ने खा ली...अउर आप टापते रह गये...:)

छन्न पकैया छन्न पकैया, कथनी और कहानी.
योगी चट कर डाले गुल्ले, शन्नो कहें जबानी..

छन्न पकैया छन्न पकैया, कहें बात ना मन्दी
दिल को भा जाती शन्नो की, बाल सुलभ तुकबंदी

RSS

कृपया ध्यान दे...

आवश्यक सूचना:-

1-सभी सदस्यों से अनुरोध है कि कृपया मौलिक व अप्रकाशित रचना ही पोस्ट करें,पूर्व प्रकाशित रचनाओं का अनुमोदन नही किया जायेगा, रचना के अंत में "मौलिक व अप्रकाशित" लिखना अनिवार्य है । अधिक जानकारी हेतु नियम देखे

2-ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार यदि आपको अच्छा लगा तो अपने मित्रो और शुभचिंतको को इस परिवार से जोड़ने हेतु यहाँ क्लिक कर आमंत्रण भेजे |

3-यदि आप अपने ओ बी ओ पर विडियो, फोटो या चैट सुविधा का लाभ नहीं ले पा रहे हो तो आप अपने सिस्टम पर फ्लैश प्लयेर यहाँ क्लिक कर डाउनलोड करे और फिर रन करा दे |

4-OBO नि:शुल्क विज्ञापन योजना (अधिक जानकारी हेतु क्लिक करे)

5-"सुझाव एवं शिकायत" दर्ज करने हेतु यहाँ क्लिक करे |

6-Download OBO Android App Here

हिन्दी टाइप

New  देवनागरी (हिंदी) टाइप करने हेतु दो साधन...

साधन - 1

साधन - 2

Latest Activity

लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' posted blog posts
yesterday
सुरेश कुमार 'कल्याण' posted blog posts
yesterday
Sushil Sarna posted blog posts
yesterday
Nilesh Shevgaonkar posted a blog post

ग़ज़ल नूर की - तो फिर जन्नतों की कहाँ जुस्तजू हो

.तो फिर जन्नतों की कहाँ जुस्तजू हो जो मुझ में नुमायाँ फ़क़त तू ही तू हो. . ये रौशन ज़मीरी अमल एक…See More
yesterday
Admin posted a discussion

"ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-171

परम आत्मीय स्वजन,ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरे के 171 वें अंक में आपका हार्दिक स्वागत है | इस बार का…See More
Tuesday
लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' commented on लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर''s blog post दोहा दसक - गुण
"आ. भाई सुशील जी, सादर अभिवादन। दोहों पर उपस्थित और उत्साहवर्धन के लिए हार्दिक धन्यवाद।"
Tuesday
लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' commented on लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर''s blog post समय के दोहे -लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर'
"आ. भाई श्यामनाराण जी, सादर अभिवादन।दोहों पर उपस्थिति और उत्साहवर्धन के लिए हार्दिक आभार।"
Tuesday
Sushil Sarna commented on लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर''s blog post दोहा दसक - गुण
"वाहहहहहह गुण पर केन्द्रित  उत्तम  दोहावली हुई है आदरणीय लक्ष्मण धामी जी । हार्दिक…"
Tuesday
Nilesh Shevgaonkar shared their blog post on Facebook
Tuesday
Shyam Narain Verma commented on Nilesh Shevgaonkar's blog post ग़ज़ल नूर की - उस के नाम पे धोखे खाते रहते हो
"नमस्ते जी, बहुत ही सुंदर प्रस्तुति, हार्दिक बधाई l सादर"
Monday
Shyam Narain Verma commented on लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर''s blog post समय के दोहे -लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर'
"नमस्ते जी, बहुत ही सुंदर और ज्ञान वर्धक प्रस्तुति, हार्दिक बधाई l सादर"
Monday
लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' shared their blog post on Facebook
Sunday

© 2024   Created by Admin.   Powered by

Badges  |  Report an Issue  |  Terms of Service