For any Query/Feedback/Suggestion related to OBO, please contact:- admin@openbooksonline.com & contact2obo@gmail.com, you may also call on 09872568228(योगराज प्रभाकर)/09431288405(गणेश जी "बागी")

शर्म करो ऐ तनिक दरिंदों शर्म करो

शर्म करो ऐ तनिक दरिंदों शर्म करो,
मनुज रूप में तनिक दरिंदों शर्म करो।
दिल्ली की सड़कों पर तुमने यह क्या कर डाला।
बापू औ पटेल की धरती पर क्या रच डाला।
तेरी करतूतों से फिर है देश हुआ गमगीन,
शर्म करो ऐ तनिक दरिंदों शर्म करो....
नारी ही दुर्गा है नारी ही लक्ष्मी बाई,
नारी ही कल्पना हमारी नारी ही माई।
माता के स्वरूप को तुमने ही तिल तिल मारा,
दिल्ली की सड़कों पर तुमने यह क्या कर डाला।
तेरह दिन तक जीवन से भी हार नहीं मानी,
पल-पल जिसने अपनी ही संासों से थी ठानी।
शुक्रवार की रात कड़कते हुए बादलों में ही,
चली गई दामिनी कड़कते हुए दामिनी जैसी,
पहले बस में फिर जीवन से लड़ी बिना डर के ही,
एक सवाल कर गई दामिनी भैया, बापू से भी,
था मेरा क्या दोष यही कि लड़की थी मै?
था क्या मेरा दोष यही कि बढ़ती थी मैं?
अगर दोष यह, सोंच बदलने का अभियान चलाओ,
गलियारों से संसद तक भैया अभियान चलाओ,
गूंगी बहरी सरकारों के चौखट पर दीप जलाओ।
मंद न पड़ने देना लौ को न्याय दिलाना,
करे अगर सरकार बहाना सबक सिखाना,
गलियारों से संसद तक भैया अभियान चलाओ...
चली गई पर मैं जिंदा हूं हर नारी के मन में,
याद करो मै बस जाउंगी तेरे भी तनमन में।
व्यर्थ न जाए दामिनी जीवन करो आज संकल्प,
मुझे शांति तो तभी मिलेगी, न्याय मिलेगा,
हर महिला को मिले सुरक्षा, मान मिलेगा।
गलियारों से संसद तक भैया अभियान चलाओ,
गूंगी बहरी सरकारों के चौखट पर दीप जलाओ।
अतुल चंद्र अवस्थी *अतुल*

Views: 349

Comment

You need to be a member of Open Books Online to add comments!

Join Open Books Online

Comment by Atul Chandra Awsathi *अतुल* on January 24, 2013 at 9:21pm

उपासना जी आपका समर्थन मिला, धन्यवाद। इस मसले पर सभी को जागरूक होने की जरूरत है जिससे कि समाज के भेड़ियों से समाज महफूज हो सके। 

Comment by upasna siag on January 24, 2013 at 3:57pm

व्यर्थ न जाए दामिनी जीवन करो आज संकल्प,
मुझे शांति तो तभी मिलेगी, न्याय मिलेगा, 
हर महिला को मिले सुरक्षा, मान मिलेगा। 
गलियारों से संसद तक भैया अभियान चलाओ,
गूंगी बहरी सरकारों के चौखट पर दीप जलाओ।.........ऐसा ही होना चाहिए अब 

Comment by लक्ष्मण रामानुज लडीवाला on January 22, 2013 at 4:18pm

बहुत सुन्दर भाव अभिव्यक्ति के लिए विशेष बधाई स्वीकारे श्री अतुल चन्द्र अवस्थी जी 

मुझे शांति तो तभी मिलेगी, न्याय मिलेगा, 
हर महिला को मिले सुरक्षा, मान मिलेगा। ------बहुत सही कथन 
गलियारों से संसद तक भैया अभियान चलाओ,
गूंगी बहरी सरकारों के चौखट पर दीप जलाओ।

 

कृपया ध्यान दे...

आवश्यक सूचना:-

1-सभी सदस्यों से अनुरोध है कि कृपया मौलिक व अप्रकाशित रचना ही पोस्ट करें,पूर्व प्रकाशित रचनाओं का अनुमोदन नही किया जायेगा, रचना के अंत में "मौलिक व अप्रकाशित" लिखना अनिवार्य है । अधिक जानकारी हेतु नियम देखे

2-ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार यदि आपको अच्छा लगा तो अपने मित्रो और शुभचिंतको को इस परिवार से जोड़ने हेतु यहाँ क्लिक कर आमंत्रण भेजे |

3-यदि आप अपने ओ बी ओ पर विडियो, फोटो या चैट सुविधा का लाभ नहीं ले पा रहे हो तो आप अपने सिस्टम पर फ्लैश प्लयेर यहाँ क्लिक कर डाउनलोड करे और फिर रन करा दे |

4-OBO नि:शुल्क विज्ञापन योजना (अधिक जानकारी हेतु क्लिक करे)

5-"सुझाव एवं शिकायत" दर्ज करने हेतु यहाँ क्लिक करे |

6-Download OBO Android App Here

हिन्दी टाइप

New  देवनागरी (हिंदी) टाइप करने हेतु दो साधन...

साधन - 1

साधन - 2

Latest Activity


सदस्य कार्यकारिणी
गिरिराज भंडारी replied to Admin's discussion 'ओबीओ चित्र से काव्य तक' छंदोत्सव अंक 166 in the group चित्र से काव्य तक
"आदरणीय अशोक भाई , चित्र के हर बिंदु का आपने रचना में उतार दिया है , बहुत बढ़िया , बहुत बधाई "
28 minutes ago

सदस्य कार्यकारिणी
गिरिराज भंडारी replied to Admin's discussion 'ओबीओ चित्र से काव्य तक' छंदोत्सव अंक 166 in the group चित्र से काव्य तक
"आदरणीय अजय भाई दिए हुए चित्र पर  बहुत सुन्दर छंद रचे हैं आपने ,  पेड़ रहा था सोच, कि…"
31 minutes ago

सदस्य कार्यकारिणी
गिरिराज भंडारी replied to Admin's discussion 'ओबीओ चित्र से काव्य तक' छंदोत्सव अंक 166 in the group चित्र से काव्य तक
"आदरणीय अशोक भाई , हमेशा की तरह आपकी ये क्छ्न्दा रचना भी बहुत बढ़िया हुई है | आपको हार्दिक…"
39 minutes ago
Ashok Kumar Raktale replied to Admin's discussion 'ओबीओ चित्र से काव्य तक' छंदोत्सव अंक 166 in the group चित्र से काव्य तक
"    रोला छंद * सीढ़ी  पर  है  एक, तीन  दीवारों  पर। लगते है शिशु…"
42 minutes ago

सदस्य कार्यकारिणी
गिरिराज भंडारी replied to Admin's discussion 'ओबीओ चित्र से काव्य तक' छंदोत्सव अंक 166 in the group चित्र से काव्य तक
"आदरणीया प्रतिभा जी , चित्र के अनुरूप आपकी छंद रचना के लिए आपको हार्दिक बधाई "
44 minutes ago

सदस्य कार्यकारिणी
गिरिराज भंडारी replied to Admin's discussion 'ओबीओ चित्र से काव्य तक' छंदोत्सव अंक 166 in the group चित्र से काव्य तक
"आदरणीय लक्ष्मण भाई  चित्र को बखूबी चित्रित कर रही है आपकी रचना , हार्दिक बधाइयाँ आपको "
47 minutes ago

सदस्य कार्यकारिणी
गिरिराज भंडारी replied to Admin's discussion 'ओबीओ चित्र से काव्य तक' छंदोत्सव अंक 166 in the group चित्र से काव्य तक
"आदरणीय अशोक भाई , उत्साह वर्धन के लिए आपका हार्दिक आभार "
50 minutes ago

सदस्य कार्यकारिणी
गिरिराज भंडारी replied to Admin's discussion 'ओबीओ चित्र से काव्य तक' छंदोत्सव अंक 166 in the group चित्र से काव्य तक
"आदरणीय बड़े भाई , आभार आपका "
51 minutes ago
Ashok Kumar Raktale replied to Admin's discussion 'ओबीओ चित्र से काव्य तक' छंदोत्सव अंक 166 in the group चित्र से काव्य तक
"मिले बहुत दिन बाद, चूस कर खाने वाले, गूदे से मुँह-हाथ, गाल लिपटाने वाले,.....अहा! बहुत सुन्दर…"
1 hour ago
Ashok Kumar Raktale replied to Admin's discussion 'ओबीओ चित्र से काव्य तक' छंदोत्सव अंक 166 in the group चित्र से काव्य तक
"आदरणीया प्रतिभा पाण्डे जी सादर, रोला छंदों की प्रस्तुति की सराहना के लिए आपका हार्दिक आभार.…"
1 hour ago
Ashok Kumar Raktale replied to Admin's discussion 'ओबीओ चित्र से काव्य तक' छंदोत्सव अंक 166 in the group चित्र से काव्य तक
"आदरणीय भाई लक्ष्मण धामी जी सादर, प्रस्तुत रचना पर उत्साहवर्धन के लिए आपका हृदय से आभार. सादर "
1 hour ago
Ashok Kumar Raktale replied to Admin's discussion 'ओबीओ चित्र से काव्य तक' छंदोत्सव अंक 166 in the group चित्र से काव्य तक
"बहुत-बहुत आभार आदरणीय मयंक जी.. सादर "
1 hour ago

© 2025   Created by Admin.   Powered by

Badges  |  Report an Issue  |  Terms of Service