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आपने मेरे कहे को इतना मान दिया, सादर धन्यवाद आदरणीय विजयशंकरजी.
विचार तत्त्व कथ्य में इन्फ्यूज कर रहे हैं तो कथ्य को और कसने का प्रयास करें, आदरणीय विजय शंकरजी.
अपने विचारों को साझा करने के लिए हार्दिक धन्यवाद
समस्या जितनी बड़ी... समाधान को करने में फायदा भी उतना ही बड़ा... बेहतर है ना समस्या का भी अनवरत रहना और समाधानों का भी साथ ही साथ चलते रहना
आज की परिस्थितियों पर ज़बरदस्त कटाक्ष
प्रस्तुति पर बधाई आ० डॉ० विजय शंकर जी
समस्या और समाधान पर आपके इस शानदार चिंतन के लिए तहे दिल बधाई सदर
शायद ऐसी कोई समस्या ही नही है जिसका समाधान न हो, किन्तु आप का अनुभव भी लाजवाब है आदरणीय डा.विजय जी. समस्या भी रहेंगी समाधान भी रहेगा और इसी उधेड़बुन में जीवन अनवरत.........बहुत बहुत बधाई आपको
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