For any Query/Feedback/Suggestion related to OBO, please contact:- admin@openbooksonline.com & contact2obo@gmail.com, you may also call on 09872568228(योगराज प्रभाकर)/09431288405(गणेश जी "बागी")

संवेगों के झंझावात में

बहती रही सारी खुशियाँ

इतनी क्षणिक सिद्ध हुईं

आंसुओं के समंदर

डुबोते चले गए यादों को

इतनी कमजोर निकलीं

खामोशियों के बीच

गुस्से बदल गए नफ़रतों में

इतने अप्रत्याशित थे

आशाएँ और अभिलाषाएं

सिसक रही कहीं

दम तोड़ती सी ज्यों

पर जीवन की जुगुत्सा

जूझना सिखाती परिस्थिति से

सबक का एहसास कराते

सौहर्द्र, प्रेम और संभावनाओं का

निरंतरता, यथार्थता , शाश्वतता

यही जीवन है यही सच है ।

 

 

... मौलिक एवं अप्रकाशित

Views: 754

Comment

You need to be a member of Open Books Online to add comments!

Join Open Books Online

Comment by Neelam Upadhyaya on July 9, 2018 at 2:07pm

आदरणीय राज़  नवादवी साहब, रचना की सराहना के लिए ह्रदय से आभार। 

Comment by Neelam Upadhyaya on July 9, 2018 at 2:05pm

आदरणीय शेख शहज़ाद उस्मानी साहब, मनोबल बढ़ने के लिए ह्रदय से आभार। 

Comment by Neelam Upadhyaya on July 9, 2018 at 2:04pm

आदरणीया बबिता गुप्ता जी, रचना की सराहना के लिए आभार। 

Comment by राज़ नवादवी on July 8, 2018 at 10:40am

आदरणीया  नीलम उपाध्याय जी, सुन्दर रचना की प्रस्तुति पर हार्दिक बधाई स्वीकार करें. सादर. 

Comment by Sheikh Shahzad Usmani on July 8, 2018 at 12:07am

जीवन दर्शन कराती बेहतरीन रचना। हार्दिक बधाई आदरणीया नीलम उपाध्याय साहिबा।

Comment by babitagupta on July 7, 2018 at 8:14pm

जीवन तो  संघर्षों का ही नाम हैं,लेकिन जीना तो पड़ता हैं ,बेहतरीन रचना के लिए हार्दिक बधाई स्वीकार कीजियेगा आदरणीया नीलम दी.

Comment by Neelam Upadhyaya on July 6, 2018 at 4:22pm

आदरणीय समर कबीर जी, रचना को समय देकर मेरा मनोबल बढ़ाने  तथा  सराहना के लिए बहुत बहुत  आभार। 

Comment by Neelam Upadhyaya on July 6, 2018 at 4:20pm

आदरणीय सुरेंद्र नाथ जी, रचना की सराहना के लिए बहुत  आभार। 

Comment by Neelam Upadhyaya on July 6, 2018 at 4:20pm

आदरणीय लक्ष्मण धामी जी, रचना की सराहना के लिए बहुत  आभार। 

Comment by Neelam Upadhyaya on July 6, 2018 at 4:19pm

आदरणीय मोहम्मद आरिफ जी, मनोबल बढ़ने के लिए बहुत बहुत आभार। 

कृपया ध्यान दे...

आवश्यक सूचना:-

1-सभी सदस्यों से अनुरोध है कि कृपया मौलिक व अप्रकाशित रचना ही पोस्ट करें,पूर्व प्रकाशित रचनाओं का अनुमोदन नही किया जायेगा, रचना के अंत में "मौलिक व अप्रकाशित" लिखना अनिवार्य है । अधिक जानकारी हेतु नियम देखे

2-ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार यदि आपको अच्छा लगा तो अपने मित्रो और शुभचिंतको को इस परिवार से जोड़ने हेतु यहाँ क्लिक कर आमंत्रण भेजे |

3-यदि आप अपने ओ बी ओ पर विडियो, फोटो या चैट सुविधा का लाभ नहीं ले पा रहे हो तो आप अपने सिस्टम पर फ्लैश प्लयेर यहाँ क्लिक कर डाउनलोड करे और फिर रन करा दे |

4-OBO नि:शुल्क विज्ञापन योजना (अधिक जानकारी हेतु क्लिक करे)

5-"सुझाव एवं शिकायत" दर्ज करने हेतु यहाँ क्लिक करे |

6-Download OBO Android App Here

हिन्दी टाइप

New  देवनागरी (हिंदी) टाइप करने हेतु दो साधन...

साधन - 1

साधन - 2

Latest Blogs

Latest Activity

Poonam Matia replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-180
"सुलगता रहा इक शरर धीरे धीरे जलाता रहा वो ये घर धीरे धीरे मचाया हवाओं ने कुहराम ऐसा गिरा टूट कर हर…"
25 minutes ago
Tilak Raj Kapoor replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-180
"रदीफ़ क़ाफ़िया में तो ऐसा कोई बंधन नहीं है इसलिये आपका प्रश्न स्पष्ट नहीं है। "
1 hour ago
Poonam Matia replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-180
"नमस्कारक्या तरही मिसरे में लिंग अनुसार बदलाव करसकते हैंक्यूंकि उसे मैं अपने अनुसार प्रयोग…"
2 hours ago
Tilak Raj Kapoor replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-180
"स्वागत है।"
2 hours ago
Tilak Raj Kapoor commented on लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर''s blog post करेगी सुधा मित्र असर धीरे-धीरे -लक्ष्मण धामी "मुसाफिर"
"यह तरही के लिए है या पृथक से?"
2 hours ago
Admin replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-180
"स्वागतम"
2 hours ago

सदस्य कार्यकारिणी
गिरिराज भंडारी posted a blog post

ग़ज़ल -मुझे दूसरी का पता नहीं ( गिरिराज भंडारी )

११२१२     ११२१२       ११२१२     ११२१२  मुझे दूसरी का पता नहीं ***********************तुझे है पता तो…See More
5 hours ago

सदस्य कार्यकारिणी
गिरिराज भंडारी commented on Ravi Shukla's blog post तरही ग़ज़ल
"आदरणीय रवि भाई , वाह ! बहुत बढ़िया ग़ज़ल कही है , दिली बधाई स्वीकार करें "
5 hours ago

सदस्य कार्यकारिणी
गिरिराज भंडारी commented on Nilesh Shevgaonkar's blog post ग़ज़ल नूर की - सुनाने जैसी कोई दास्ताँ नहीं हूँ मैं
"आदरणीय  निलेश भाई  हमेशा की तरह अच्छी ग़ज़ल हुई है,  हार्दिक  बधाई वीकार…"
5 hours ago

सदस्य कार्यकारिणी
गिरिराज भंडारी commented on लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर''s blog post कहते हो बात रोज ही आँखें तरेर कर-लक्ष्मण धामी "मुसाफिर"
"आदरणीय लक्ष्मण  भाई , अच्छी ग़ज़ल कही , बड़ी कठिन रदीफ़ चुनी आपने , हार्दिक  बधाई आपको "
5 hours ago

सदस्य कार्यकारिणी
गिरिराज भंडारी commented on लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर''s blog post करेगी सुधा मित्र असर धीरे-धीरे -लक्ष्मण धामी "मुसाफिर"
"आदरणीय लक्ष्मण भाई , अच्छी ग़ज़ल हुई है , बधाई स्वीकार करें मक्ता शायद अपनी बात नहीं कह पा रहा…"
5 hours ago

सदस्य कार्यकारिणी
गिरिराज भंडारी commented on गिरिराज भंडारी's blog post ग़ज़ल - यहाँ अनबन नहीं है ( गिरिराज भंडारी )
"आदरणीय सौरभ भाई , ग़ज़ल पर आपकी उपस्थिति हमेशा प्रेरणा दाई  होती है , ग़ज़ल के कुछ शेर आपको अच्छे…"
5 hours ago

© 2025   Created by Admin.   Powered by

Badges  |  Report an Issue  |  Terms of Service