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खुशियाँ और गम, ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार के संग...

ओपन बुक्स ऑनलाइन के सभी सदस्यों को प्रणाम, बहुत दिनों से मेरे मन मे एक विचार आ रहा था कि एक ऐसा फोरम भी होना चाहिये जिसमे हम लोग अपने सदस्यों की ख़ुशी और गम को नजदीक से महसूस कर सके, इसी बात को ध्यान मे रखकर यह फोरम प्रारंभ किया जा रहा है, जिसमे सदस्य गण एक दूसरे के सुख और दुःख की बातो को यहाँ लिख सकते है और एक दूसरे के सुख दुःख मे शामिल हो सकते है |

धन्यवाद सहित
आप सब का अपना
ADMIN
OBO

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पूरे ओ बी ओ मंच , आदरणीय सौरभ पांडेय जी, योगराज प्रभाकर जी, समर कबीर साहिब , मो.आरिफ मोहमद साहिब ,मिथिलेश वामनकर जी, श्री गणेश बागी जी एवं सम्पूर्ण इसके प्रबंधन मंडल , वरिष्ठ गुणीजनों सभी को नूतन वर्ष २०१९ की हार्दिक शुभकामनाएं। इसके साथ ही अगर मुझसे विगत वर्ष में जाने अनजाने कोई भूल हुई हो या किसी को मेरे किसी कथन से ठेस पहुंची हो , मैं हाथ जोड़कर उसके लिए क्षमा मांगता हूँ।

 समस्त ओपनबुक्सओनलाइनडॉटकॉम-साहित्य-पत्रिका-वेबसाइट-परिवार को तहे दिल से नये साल की बहुत-बहुत मुबारकबाद और मंगलकामनाएं।

समस्त ओबीओ परिवार को नूतन वर्ष की हार्दिक शुभकामनाएँ । हमारा ये परिवार साहित्य की नई उँचाईयों को छुए इसी कामना के साथ सभी साथियों का  हार्दिक अभिनंदन। 

समस्त ओबीओ परिवार को नूतन वर्ष की हार्दिक शुभकामनाएँ । हमारा ये परिवार साहित्य की नई उँचाईयों को छुए इसी कामना के साथ सभी साथियों का  हार्दिक अभिनंदन। 

प्रिय मित्रों देहरादून से प्रकाशित मासिक पत्रिका 'कविकुंभ के नवम्बर २०१८ के अंक मेरी एक रचना ''बुज़ुर्ग '' को स्थान मिला है।  इस हेतु आदरणीया रणजीति सिंह जी, संपादक को तहे दिल से शुक्रिया अदा करता हूँ। अपनी ये ख़ुशी मैं आप सब के साथ साझा कर रहा हूँ। आप सब  का स्नेह मेरे लिए अनमोल है। सादर   ....

बहना कल्पना भट्ट जी को यौम-ए-पैदाइश की बहुत बहुत मुबारकबाद !

'तुम जियो हज़ारों साल

साल के दिन हों पचास हज़ार'

जनमदिन  जनमदिन   मुबारक जनमदिन 

मिलें इतनी ख़ुशियाँ न पाओ उन्हें  गिन 

प्रिय कल्पना भट्ट  जी को जन्मदिन की असीम शुभकामनाएँ  

जन्म दिन की शुभकामनाएँ, आदरणीया कल्पना जी

जन्म दिन की हार्दिक बधाई एवं हार्दिक शुभकामनाएँ, आदरणीया कल्पना जी

प्रिय मित्रों,

मैं आज बहुत समय के बाद यहाँ आ रहा हूँ। १ १/२ माह के लिए भारत में था, यहाँ यू एस ए घर लौटा तो पाया कि घर की पहली मंज़िल में पानी आया हुया है और काफ़ी नुकसान हुया है क्यूँकि पानी लगभग १ १/२ महीने से ठहरा था जब हम सब यहाँ घर से दूर भारत में थे। नवम्बर-दिसम्बर में यहाँ बहुत बारिश आई है । सफ़ाई और मरम्मत का काम चल रहा है... लगभग २ माह और लगेंगे।

भारत में मेरा और मेरी जीवन साथी नीरा जी का मुख्य लक्ष्य सेवा योगदान का था। कंखल (हरिद्वार) में रामकृष्ण मिशन का अस्पताल है जहाँ मैंने २०१५ में सेवा-योगदान दिया था ... मन था कि कई निर्धन असहाय लोगों के बीच पुन: समय बिताऊँ, उनके घावों पर अपने हाथ से पुन: मरहम पट्टी लगाऊँ। यह लक्ष्य तो सफ़ल हुया ही, खुशी की बात यह भी है कि अस्पताल के मुख्य-प्रबंधक improvements के लिए मेरे सुझावों के इच्छुक रहे, मेरे सुझावों से प्रसन्न थे, और मुझको O.P.D. Dressing Room के अलावा Diabetic clinic में भी improvements करने की अनुमती दी। मैं बहुत ही भाग्यशाली था कि भगवान जी की कृपा से मेरा योगदान सफ़ल हुया।

यह अस्पताल १०० वर्ष से पहले स्वामी विवेकानन्द जी के नेतृत्व से खुला था । अब यह ५ मंज़िल की बिलडिंग में २०० beds का है, और हर रोज़ लगभग ८०० से १००० out-patient मरीज़ों की चिकित्सा करता है। प्रबंधक महोदय, कर्मचारी एवं मरीज़ों से ..सभी से बहुत स्नेह और आदर मिला। 

मरीज़ों को अपने हाथ से खाना खिलाने का और ही आनन्द था। कभी हम २५० संतरे, कभी २५०  सेब खरीद कर ले जाते थे मरीज़ों के लिए तो वह इन्तज़ार कर रहे होते थे।

यह अस्पताल गंगा के पास है, अत: गंगा जी परअस्पताल का अपना निजि घाट है जहाँ स्नान का आनन्द आता था।उनकी अपनी गोशाला है जहाँ लगभग ८५ अति स्वस्थ गाय हैं... अश्चर्य की बात तो यह कि इन गायों की खाना खाने के समय CD Player पर गायो के सुनने के लिए भजन सुनाए जाते हैं ... मान्यता यह है कि इस प्रकार गाय अधिक सात्विक होंगी, अत: उनका दूध अधिक सात्विक होगा।

गरीबों और बीमारों के संग उनकी सेवा करके लगता है कि मेरा पुनर्जन्म हुया है।

नेक दिल इंसान हर जगह मदद करने का सबब ढूँढ़ लेता है और अपने आप को आस पास वालों को भी खुश रखता है आपकी भावनाएँ कद्र करने लायक सम्मानीय स्वागतीय हैं आप जहाँ भी रहें आस पास ख़ुशी ही बांटेंगे .आपको नमन है 

हार्दिक धन्यवाद, आदरणीया राज जी

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