For any Query/Feedback/Suggestion related to OBO, please contact:- admin@openbooksonline.com & contact2obo@gmail.com, you may also call on 09872568228(योगराज प्रभाकर)/09431288405(गणेश जी "बागी")

Manan Kumar singh's Blog – August 2022 Archive (3)

प्रतिद्वंदी (लघुकथा)

दो भिखारी बीच सड़क पर झगड़ रहे थे। ट्रैफिक दोनों तरफ रुका हुआ था।लोग मौन तमाशबीन बने थे।

"तुम मेरे मुहल्ले में क्यों घुसे?" पहला भिखारी चिल्लाया।

"कौन तेरा मुहल्ला?दूसरे ने सवाल दागा।

"वही बाबा लोगों वाला।वहां केवल मैं भीख मांग सकता हूं,तुम नहीं।"

"क्यों बे? मैं क्यों नहीं?"

"इसलिए कि सामने के मुहल्ले से केवल तुझे भीख मिलती है,मुझे कभी नहीं।तेरी दुआ ही वहां फलती है,मेरा आशीष नहीं।"

"मैं तो बाबा वाले मुहल्ले में भी दुआ बांट आता हूं।कुछ मांगता भी नहीं।"

"अरे,…

Continue

Added by Manan Kumar singh on August 22, 2022 at 1:00pm — 2 Comments

आजादी

आजादी

1. मैं शाम को स्कूटी से आ रहा था।एक ऑटो से आगे निकलता कि उसी लेन में सामने से तेज गति से लहराती एक मोटर साइकिल आ गई। मैं थोड़ा दाएं हटा,ऑटो थोड़ा बाएं।मोटर साइकिल सवार बेधड़क निकल गए।भयमुक्त होने के बाद मैंने पीछे की तरफ आंखें तरेड़ी।

"कोई फायदा नहीं।आजादी है।"ऑटो ड्राइवर बोला।

2. फ्लैट के म्यूटेशन के क्रम में वह आज फिर निगम कार्यालय गया।कागजात पहले ही जमा हो चुके थे।संबंधित अधिकारी से उस दिन बात शुरू हुई थी,तो वह बोला था," आदेश होगा,तो आपका…

Continue

Added by Manan Kumar singh on August 15, 2022 at 11:41am — 2 Comments

प्रति व्यक्ति आय

"हमारा देश तरक्की कर रहा है।प्रति व्यक्ति आय लगातार बढ़ी है।"अर्थशास्त्री ने ज्ञान बघाड़ा।
"तो लोगों के हाथ में भीख का कटोरा क्यों है?"समाजशास्त्री ने कील चुभोई।
"भीख का कटोरा?मतलब?"
"लोग मुफ्त का राशन खाने को मजबूर हैं।मंदिरों -मस्जिदों के सामने एक -एक सिक्के के लिए गुहार लगाते लोग नहीं दिखते आपको?" सुनकर अर्थशास्त्री जी मुंह फिरा चल पड़े।
"मौलिक एवं अप्रकाशित"

Added by Manan Kumar singh on August 14, 2022 at 7:45pm — 2 Comments

कृपया ध्यान दे...

आवश्यक सूचना:-

1-सभी सदस्यों से अनुरोध है कि कृपया मौलिक व अप्रकाशित रचना ही पोस्ट करें,पूर्व प्रकाशित रचनाओं का अनुमोदन नही किया जायेगा, रचना के अंत में "मौलिक व अप्रकाशित" लिखना अनिवार्य है । अधिक जानकारी हेतु नियम देखे

2-ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार यदि आपको अच्छा लगा तो अपने मित्रो और शुभचिंतको को इस परिवार से जोड़ने हेतु यहाँ क्लिक कर आमंत्रण भेजे |

3-यदि आप अपने ओ बी ओ पर विडियो, फोटो या चैट सुविधा का लाभ नहीं ले पा रहे हो तो आप अपने सिस्टम पर फ्लैश प्लयेर यहाँ क्लिक कर डाउनलोड करे और फिर रन करा दे |

4-OBO नि:शुल्क विज्ञापन योजना (अधिक जानकारी हेतु क्लिक करे)

5-"सुझाव एवं शिकायत" दर्ज करने हेतु यहाँ क्लिक करे |

6-Download OBO Android App Here

हिन्दी टाइप

New  देवनागरी (हिंदी) टाइप करने हेतु दो साधन...

साधन - 1

साधन - 2

Latest Blogs

Latest Activity

Chetan Prakash replied to Admin's discussion र"ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-185
"आ.लक्ष्मण सिंह मुसाफिर साहब,  अच्छी ग़ज़ल हुई, और बेहतर निखार सकते आप । लेकिन  आ.श्री…"
1 hour ago
Chetan Prakash replied to Admin's discussion र"ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-185
"आ.मिथिलेश वामनकर साहब,  अतिशय आभार आपका, प्रोत्साहन हेतु !"
1 hour ago
Chetan Prakash replied to Admin's discussion र"ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-185
"देर आयद दुरुस्त आयद,  आ.नीलेश नूर साहब,  मुशायर की रौनक  लौट आयी। बहुत अच्छी ग़ज़ल…"
1 hour ago
Chetan Prakash replied to Admin's discussion र"ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-185
" ,आ, नीलेशजी कुल मिलाकर बहुत बहुत अच्छी ग़ज़ल हुई,  जनाब!"
1 hour ago
लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' replied to Admin's discussion र"ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-185
"आ. भाई मिथिलेश जी, सादर अभिवादन। गजल पर उपस्थिति और स्नेह के लिए आभार।"
3 hours ago
लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' replied to Admin's discussion र"ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-185
"आ. भाई नीलेश जी, सादर अभिवादन।  गजल पर उपस्थिति और स्नेह के लिए आभार। भाई तिलकराज जी द्वार…"
3 hours ago
लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' replied to Admin's discussion र"ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-185
"आ. भाई तिलकराज जी, सादर अभिवादन। गजल पर उपस्थिति और विस्तृत टिप्पणी से मार्गदर्शन के लिए आभार।…"
3 hours ago
Tilak Raj Kapoor replied to Admin's discussion र"ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-185
"तितलियों पर अपने खूब पकड़ा है। इस पर मेरा ध्यान नहीं गया। "
3 hours ago
Jaihind Raipuri replied to Admin's discussion र"ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-185
"आदरणीय मिथिलेश वामनकर जी नमस्कार बहुत- बहुत शुक्रिया आपका आपने वक़्त निकाला विशेष बधाई के लिए भी…"
4 hours ago

सदस्य कार्यकारिणी
मिथिलेश वामनकर replied to Admin's discussion र"ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-185
"आदरणीय लक्ष्मण धामी मुसाफिर जी, बहुत बढ़िया ग़ज़ल हुई है. हार्दिक बधाई स्वीकारें. सादर "
5 hours ago

सदस्य कार्यकारिणी
मिथिलेश वामनकर replied to Admin's discussion र"ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-185
"आदरणीय शिज्जू भाई, बहुत बढ़िया ग़ज़ल कही है आपने. शेर दर शेर दाद ओ मुबारकबाद कुबूल फरमाएं. सादर "
5 hours ago

सदस्य कार्यकारिणी
मिथिलेश वामनकर replied to Admin's discussion र"ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-185
"आदरणीय चेतन प्रकाश जी, बहुत बढ़िया ग़ज़ल हुई है. हार्दिक बधाई स्वीकार करें. सादर "
5 hours ago

© 2025   Created by Admin.   Powered by

Badges  |  Report an Issue  |  Terms of Service