For any Query/Feedback/Suggestion related to OBO, please contact:- admin@openbooksonline.com & contact2obo@gmail.com, you may also call on 09872568228(योगराज प्रभाकर)/09431288405(गणेश जी "बागी")

सुबह का सूरज --नवगीत !

नवगीत 
********
सुबह का सूरज 
आसमान में चढ़ जाये 
 
नव प्रभात के 
शब्द-सुमन ले 
कलरव का 
उसमे चिंतन ले 
किरणो के कुछ छंद 
सलोने गढ़ जाये    …सुबह का सूरज 
 
होते इस परिपक्व 
दिवस में 
किरणे घुल जाती 
नस-नस में 
कदमों पर आरोप 
थकन के मढ़ जाये …सुबह का सूरज 
 
ढलती ये 
संध्या की  बेला
मन हो जाता 
निपट अकेला 
छोड़ मील के पत्थर 
आगे बढ़ जाये  …सुबह का सूरज 
 
सुबह का सूरज 
आसमान में चढ़ जाये 
--------------------------------------
अविनाश बागड़े   मौलिक /अप्रकाशित

Views: 784

Comment

You need to be a member of Open Books Online to add comments!

Join Open Books Online

Comment by AVINASH S BAGDE on January 3, 2014 at 10:33pm

आदरणीय सत्यनारायण सिंह साहब ,अविनाश बागड़े आपका ह्रदय से आभारी है 


मुख्य प्रबंधक
Comment by Er. Ganesh Jee "Bagi" on January 2, 2014 at 8:36pm

वाह बहुत खूब !

Comment by Neeraj Neer on January 2, 2014 at 6:03pm

बहुत बेहतरीन लिखा है ..

Comment by vijay nikore on January 1, 2014 at 8:11pm

//छोड़ मील के पत्थर 

आगे बढ़ जाये  …सुबह का सूरज //
अच्छे भाव पिरोय  हैं। बधाई।
 
सादर,
विजय निकोर
Comment by लक्ष्मण रामानुज लडीवाला on January 1, 2014 at 5:55pm

सुबह का सूरज आसमान में चढ़ जाए - सुन्दर नवगीत रचना के हार्दिक बधाई और साथ ही -

 वर्ष २०१४ का आपका हर दिन आपको उर्जावान रख प्रगति पथ पर अग्रसर करे इन्ही भावनाओं के साथ हार्दिक मंगल कामनाए 


सदस्य टीम प्रबंधन
Comment by Dr.Prachi Singh on January 1, 2014 at 5:39pm
नव प्रभात के 
शब्द-सुमन ले 
कलरव का 
उसमे चिंतन ले 
किरणो के कुछ छंद 
सलोने गढ़ जाये ..............बहुत खूबसूरत 
हार्दिक बधाई आ० अविनाश बागडे जी 
Comment by अखिलेश कृष्ण श्रीवास्तव on January 1, 2014 at 12:53pm

आदरणीय  अविनाश भाई, नव वर्ष की शुभ कामनाओं के साथ आपको इस सुंदर गीत की भी हार्दिक बधाई॥

Comment by MAHIMA SHREE on December 31, 2013 at 8:12pm
सुबह का सूरज 
आसमान में चढ़ जाये 
नव प्रभात के 
शब्द-सुमन ले 
कलरव का 
उसमे चिंतन ले 
किरणो के कुछ छंद 
सलोने गढ़ जाये    …सुबह का सूरज ..... बहुत बढ़िया बधाई आदरणीय अविनाश सर .. नव वर्ष की बधाई और शुभकामनायें सादर
Comment by Satyanarayan Singh on December 31, 2013 at 5:45pm
आ. अशोक बगाडे जी सादर,

सुन्दर गीत के प्रस्तुति हेतु हार्दिक बधाई तथा नव वर्ष की मंगल शुभ कामनाएं
Comment by AVINASH S BAGDE on December 30, 2013 at 9:14pm

आदरणीय गिरिराज भंडारी जी ...ह्रदय से आभार .

कृपया ध्यान दे...

आवश्यक सूचना:-

1-सभी सदस्यों से अनुरोध है कि कृपया मौलिक व अप्रकाशित रचना ही पोस्ट करें,पूर्व प्रकाशित रचनाओं का अनुमोदन नही किया जायेगा, रचना के अंत में "मौलिक व अप्रकाशित" लिखना अनिवार्य है । अधिक जानकारी हेतु नियम देखे

2-ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार यदि आपको अच्छा लगा तो अपने मित्रो और शुभचिंतको को इस परिवार से जोड़ने हेतु यहाँ क्लिक कर आमंत्रण भेजे |

3-यदि आप अपने ओ बी ओ पर विडियो, फोटो या चैट सुविधा का लाभ नहीं ले पा रहे हो तो आप अपने सिस्टम पर फ्लैश प्लयेर यहाँ क्लिक कर डाउनलोड करे और फिर रन करा दे |

4-OBO नि:शुल्क विज्ञापन योजना (अधिक जानकारी हेतु क्लिक करे)

5-"सुझाव एवं शिकायत" दर्ज करने हेतु यहाँ क्लिक करे |

6-Download OBO Android App Here

हिन्दी टाइप

New  देवनागरी (हिंदी) टाइप करने हेतु दो साधन...

साधन - 1

साधन - 2

Latest Blogs

Latest Activity

Admin posted a discussion

"ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-181

आदरणीय साहित्य प्रेमियो, जैसाकि आप सभी को ज्ञात ही है, महा-उत्सव आयोजन दरअसल रचनाकारों, विशेषकर…See More
6 hours ago
anwar suhail updated their profile
Saturday
लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' posted a blog post

न पावन हुए जब मनों के लिए -लक्ष्मण धामी "मुसाफिर"

१२२/१२२/१२२/१२****सदा बँट के जग में जमातों में हम रहे खून  लिखते  किताबों में हम।१। * हमें मौत …See More
Friday
ajay sharma shared a profile on Facebook
Dec 4
Sheikh Shahzad Usmani replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-128 (विषय मुक्त)
"शुक्रिया आदरणीय।"
Dec 1
Dayaram Methani replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-128 (विषय मुक्त)
"आदरणीय शेख शहज़ाद उस्मानी जी, पोस्ट पर आने एवं अपने विचारों से मार्ग दर्शन के लिए हार्दिक आभार।"
Nov 30
Sheikh Shahzad Usmani replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-128 (विषय मुक्त)
"सादर नमस्कार। पति-पत्नी संबंधों में यकायक तनाव आने और कोर्ट-कचहरी तक जाकर‌ वापस सकारात्मक…"
Nov 30
Sheikh Shahzad Usmani replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-128 (विषय मुक्त)
"आदाब। सोशल मीडियाई मित्रता के चलन के एक पहलू को उजागर करती सांकेतिक तंजदार रचना हेतु हार्दिक बधाई…"
Nov 30
Sheikh Shahzad Usmani replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-128 (विषय मुक्त)
"सादर नमस्कार।‌ रचना पटल पर अपना अमूल्य समय देकर रचना के संदेश पर समीक्षात्मक टिप्पणी और…"
Nov 30
Sheikh Shahzad Usmani replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-128 (विषय मुक्त)
"आदाब।‌ रचना पटल पर समय देकर रचना के मर्म पर समीक्षात्मक टिप्पणी और प्रोत्साहन हेतु हार्दिक…"
Nov 30
Dayaram Methani replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-128 (विषय मुक्त)
"आदरणीय शेख शहज़ाद उस्मानी जी, आपकी लघु कथा हम भारतीयों की विदेश में रहने वालों के प्रति जो…"
Nov 30
Dayaram Methani replied to Admin's discussion "ओबीओ लाइव लघुकथा गोष्ठी" अंक-128 (विषय मुक्त)
"आदरणीय मनन कुमार जी, आपने इतनी संक्षेप में बात को प्रसतुत कर सारी कहानी बता दी। इसे कहते हे बात…"
Nov 30

© 2025   Created by Admin.   Powered by

Badges  |  Report an Issue  |  Terms of Service