For any Query/Feedback/Suggestion related to OBO, please contact:- admin@openbooksonline.com & contact2obo@gmail.com, you may also call on 09872568228(योगराज प्रभाकर)/09431288405(गणेश जी "बागी")

ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार भोपाल के तत्वावधान में 15 अप्रैल 2018 को ‘ओबीओ साहित्योत्सव 2018’ का आयोजन किया जा रहा है. आयोजन की स्मृतियों को अक्षुण्ण रखने के लिए स्मारिका ‘शब्दशिल्पी’ के प्रकाशन का निर्णय लिया गया है. ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार के सदस्यों से  स्मारिका ‘शब्दशिल्पी’ में प्रकाशनार्थ रचनाएँ आमंत्रित की जाती हैं.

तुकांत कविता, अतुकांत आधुनिक कविता, हास्य कविता, गीत-नवगीत, ग़ज़ल, नज़्म, हाइकू, सॉनेट, व्यंग्य काव्य, मुक्तक, शास्त्रीय-छंद (दोहा, चौपाई, कुंडलिया, कवित्त, सवैया, हरिगीतिका आदि) और लघुकथा विधाओं में से किसी एक विधा में केवल तीन रचनाएँ प्रेषित करनी हैं. कहानी, निबंध, व्यंग्य, आलेख, शोध-पत्र, समीक्षा, यात्रावृत, रेखाचित्र, संस्मरण, साक्षात्कार विधा में से किसी एक विधा में केवल एक रचना (शब्द संख्या अधिकतम 2000)प्रेषित कर सकते हैं.

रचनाएँ केवल यूनिकोड मंगल फॉण्ट में ही भेजें. ओपन बुक्स ऑनलाइन में प्रकाशित रचनाओं की लिंक भेजी जा सकती हैं. पीडीएफ या इमेज के रूप में प्राप्त रचनाएँ अस्वीकृत कर दी जाएगी. समस्त रचनाएँ दिनांक 15 मार्च 2018 तक ई-मेल obosub2018@gmail.com पर भेजने का कष्ट करें.

संपादक
'शब्दशिल्पी'

Views: 2113

Replies are closed for this discussion.

Replies to This Discussion

मुहतरम जनाब मिथिलेश साहिब, ओ बी ओ साहित्योत्सव 2018 के लिए बहुत बहुत मुबारकबाद क़ुबूल फरमाएं। "शब्द शिल्पी" के प्रकाशन का इरादा आपकी साहित्य के प्रति प्रेम को ज़ाहिर कर रहा है , बहुत बहुत बधाई ।

हार्दिक धन्यवाद आपका. सादर 

 

आदरणीय मिथिलेश वामनकर जी सादर प्रणाम, इस आयोजन के लिए आपको सर्वप्रथम बहुत बहुत बधाई एवं सफलता के लिए शुभकामनाएं। मैं निर्धारित रचनाओं को निर्धारित तिथि तक अवशय प्रेषित कर दूंगा। इस कदम के लिए आपको बहुत बहुत बधाई।

हार्दिक धन्यवाद आपका. सादर 

हार्दिक बधाई आदरणीय मिथिलेश वामनकर जी।उत्तम विचार।आपकी सफ़लता हेतु शुभ कामनायें।

आदरणीय मिथिलेश वामनकर जी सादर प्रणाम, अति उत्तम विचार |इसकी सफलता के मेरी ओर से ढेरों शुभकामनायें !

सादर !

प्रिय मिथिलेश जी ,
शब्दशिल्पी के शुभ आयोजन के लिए बधाई एवं शुभकामनाएं। एक साधारण सा प्रश्न है , क्या इसमें प्रकाशनार्थ वह रचनाएं भी भेजी जा सकती हैं जो पूर्व में ओ बी ओ पर प्रकाशित हो चुकी है अथवा केवल नवीन और अप्रकाशित रचनाएं ही ?
आपके उत्तर की प्रतीक्षा रहेगी।
सादर।

भवदीय

डॉ. विजय शंकर

ओपन बुक्स ऑनलाइन में प्रकाशित रचनाएँ या रचनाओं की लिंक भेजी जा सकती हैं. 

बहुत बहुत बधाई,जनाब मिथिलेश वामनकर साहिब ।

हार्दिक धन्यवाद. 

आदरणीय मिथिलेश वामनकर जी सादर प्रणाम। ओ बी ओ साहित्योत्सव 2018 के आयोजन के लिए बहुत बहुत बधाई ।

हार्दिक धन्यवाद 

RSS

कृपया ध्यान दे...

आवश्यक सूचना:-

1-सभी सदस्यों से अनुरोध है कि कृपया मौलिक व अप्रकाशित रचना ही पोस्ट करें,पूर्व प्रकाशित रचनाओं का अनुमोदन नही किया जायेगा, रचना के अंत में "मौलिक व अप्रकाशित" लिखना अनिवार्य है । अधिक जानकारी हेतु नियम देखे

2-ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार यदि आपको अच्छा लगा तो अपने मित्रो और शुभचिंतको को इस परिवार से जोड़ने हेतु यहाँ क्लिक कर आमंत्रण भेजे |

3-यदि आप अपने ओ बी ओ पर विडियो, फोटो या चैट सुविधा का लाभ नहीं ले पा रहे हो तो आप अपने सिस्टम पर फ्लैश प्लयेर यहाँ क्लिक कर डाउनलोड करे और फिर रन करा दे |

4-OBO नि:शुल्क विज्ञापन योजना (अधिक जानकारी हेतु क्लिक करे)

5-"सुझाव एवं शिकायत" दर्ज करने हेतु यहाँ क्लिक करे |

6-Download OBO Android App Here

हिन्दी टाइप

New  देवनागरी (हिंदी) टाइप करने हेतु दो साधन...

साधन - 1

साधन - 2

Latest Activity


सदस्य टीम प्रबंधन
Saurabh Pandey replied to Saurabh Pandey's discussion पटल पर सदस्य-विशेष का भाषायी एवं पारस्परिक व्यवहार चिंतनीय
"आदरणीय अमीरुद्दीन जी, किसी को किसी के प्रति कोई दुराग्रह नहीं है. दुराग्रह छोड़िए, दुराव तक नहीं…"
26 minutes ago

सदस्य टीम प्रबंधन
Saurabh Pandey commented on अमीरुद्दीन 'अमीर' बाग़पतवी's blog post ग़ज़ल (जो उठते धुएँ को ही पहचान लेते)
"अपने आपको विकट परिस्थितियों में ढाल कर आत्म मंथन के लिए सुप्रेरित करती इस गजल के लिए जितनी बार दाद…"
56 minutes ago

सदस्य कार्यकारिणी
शिज्जु "शकूर" commented on Ashok Kumar Raktale's blog post मनहरण घनाक्षरी
"आदरणीय सौरभ सर, अवश्य इस बार चित्र से काव्य तक छंदोत्सव के लिए कुछ कहने की कोशिश करूँगा।"
58 minutes ago

सदस्य टीम प्रबंधन
Saurabh Pandey commented on Ashok Kumar Raktale's blog post मनहरण घनाक्षरी
"शिज्जू भाई, आप चित्र से काव्य तक छंदोत्सव के आयोजन में शिरकत कीजिए. इस माह का छंद दोहा ही होने वाला…"
1 hour ago
Nilesh Shevgaonkar commented on Nilesh Shevgaonkar's blog post ग़ज़ल नूर की - गुनाह कर के भी उतरा नहीं ख़ुमार मेरा
"धन्यवाद आ. अमीरुद्दीन अमीर साहब "
1 hour ago
Nilesh Shevgaonkar commented on Nilesh Shevgaonkar's blog post ग़ज़ल नूर की - गुनाह कर के भी उतरा नहीं ख़ुमार मेरा
"धन्यवाद आ. सौरभ सर,आप हमेशा वहीँ ऊँगली रखते हैं जहाँ मैं आपसे अपेक्षा करता हूँ.ग़ज़ल तक आने, पढने और…"
1 hour ago
Nilesh Shevgaonkar commented on लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर''s blog post मौत खुशियों की कहाँ पर टल रही है-लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर'
"आ. लक्ष्मण धामी जी,अच्छी ग़ज़ल हुई है ..दो तीन सुझाव हैं,.वह सियासत भी कभी निश्छल रही है.लाख…"
1 hour ago
Nilesh Shevgaonkar commented on अमीरुद्दीन 'अमीर' बाग़पतवी's blog post ग़ज़ल (जो उठते धुएँ को ही पहचान लेते)
"आ. अमीरुद्दीन अमीर साहब,अच्छी ग़ज़ल हुई है ..बधाई स्वीकार करें ..सही को मैं तो सही लेना और पढना…"
1 hour ago

सदस्य कार्यकारिणी
शिज्जु "शकूर" commented on अमीरुद्दीन 'अमीर' बाग़पतवी's blog post ग़ज़ल (जो उठते धुएँ को ही पहचान लेते)
"मोहतरम अमीरुद्दीन अमीर बागपतवी साहिब, अच्छी ग़ज़ल हुई है, सादर बधाई"
2 hours ago

सदस्य कार्यकारिणी
शिज्जु "शकूर" commented on Ashok Kumar Raktale's blog post मनहरण घनाक्षरी
"आदरणीय सौरभ सर, हार्दिक आभार, मेरा लहजा ग़जलों वाला है, इसके अतिरिक्त मैं दौहा ही ठीक-ठाक पढ़ लिख…"
2 hours ago
Sushil Sarna posted blog posts
4 hours ago
अमीरुद्दीन 'अमीर' बाग़पतवी posted a blog post

ग़ज़ल (जो उठते धुएँ को ही पहचान लेते)

122 - 122 - 122 - 122 जो उठते धुएँ को ही पहचान लेतेतो क्यूँ हम सरों पे ये ख़लजान लेते*न तिनके जलाते…See More
4 hours ago

© 2025   Created by Admin.   Powered by

Badges  |  Report an Issue  |  Terms of Service