For any Query/Feedback/Suggestion related to OBO, please contact:- admin@openbooksonline.com & contact2obo@gmail.com, you may also call on 09872568228(योगराज प्रभाकर)/09431288405(गणेश जी "बागी")

विजय मिश्र
  • 64, Male
  • Jamshedpur , Jharkhand
  • India
Share on Facebook MySpace

विजय मिश्र's Friends

  • PRAMOD SRIVASTAVA
  • savitamishra
  • शकील समर
  • अखिलेश कृष्ण श्रीवास्तव
  • Sushil Sarna
  • CHANDRA SHEKHAR PANDEY
  • Dr Babban Jee
  • D P Mathur
  • जितेन्द्र पस्टारिया
  • Priyanka singh
  • केवल प्रसाद 'सत्यम'
  • Vindu Babu
  • anwar suhail
  • Sarita Bhatia
  • Gul Sarika Thakur

विजय मिश्र's Discussions

अति दुखद समाचार
13 Replies

प्रख्यात विद्वान एवं मूर्धन्य साहित्यकार राजेन्द्र यादव आज दिवंगत हो गए ,अब हमारे मध्य वे केवल स्मृति एवं कृति रूप में ही रहेंगे . एक साधारण दिखने वाला असाधारण व्यक्तित्व ,सुहृद व्यक्ति और जिसे अपनी…Continue

Started this discussion. Last reply by Dr Ashutosh Mishra Nov 13, 2013.

RSS

Loading… Loading feed

 

विजय मिश्र's Page

Profile Information

Gender
Male
City State
जमशेदपुर
Native Place
मोतिहारी [चम्पारण पूर्व ]
Profession
नौकरी
About me
साहित्य में प्राकृतिक अभिरुचि किन्तु एक सफल यांत्रिक अभियंता .

विजय मिश्र's Photos

  • Add Photos
  • View All

विजय मिश्र's Blog

प्रदूषित जीवन

{विश्व पर्यावरण दिवस पर सादर प्रस्तुत ]



एक कहावत है जो हिंदी आधारित लगभग सभी आंचलिक भाषाओँ में प्रचलित है , “ जेई डाढ बैसी ,ओकरे काटी |” , जब विद्योत्तमा से परास्त विद्वानों ने एक महामूर्ख ढूंढने की चेष्टा कियी तो उन्हें सबसे मूर्ख वही लगा था जो उसी डाल को काट रहा था जिसपर बैठा था |कभी सोचा है कि हम सभी प्रदुषण की दृष्टि से कुछ इसी श्रेणी के बनते जा रहे हैं |

यह तो परिपाक है कि हमारा शरीर प्रकृति के पांच तत्वों से निर्मित है – आकाश , हवा, आग, पानी और धरती , जो हमारे पांच… Continue

Posted on June 5, 2014 at 9:51am — 25 Comments

Comment Wall (19 comments)

You need to be a member of Open Books Online to add comments!

Join Open Books Online

At 4:42pm on September 25, 2014, savitamishra said…

सादर नमस्ते विजय भैया ! अभी आपके कहने पर हम देखे कमेन्ट बैक भी है वरना हम तो View Thread  मेंजेकजबाबदिएथेइस लिय आश्वस्त नहीं थे किजबाब  पहुंचेगा यानहीं ........सेंड मसेज में तो टॉपिक पूछरहा था ....सहीकहें भैया आप बस पढने केलिय इस्तेमाल करते हैन इसलिय और चोजो के बारे में नहीं पता इस्तेमाल जब करने लगेगे  आने ही लगेगा|

नवरात्र की ढेर  सारी  शुभकामनाएँ आपको  भी भैया ....

और सभी भाइयों -बहनों  और बुजुर्गो को भी हार्दिक बधाई !

At 10:03pm on September 24, 2014, savitamishra said…

जबाब कैसे देते है हमे यहाँ पता नहीं है ..पता नहीं आप तक यह हमारा जबाब पहुंचेगा या नहीं

At 10:02pm on September 24, 2014, savitamishra said…

सादर नमस्ते विजय भैया .......बहुत बहुत आभार .....नहीं कहेगें ...क्योकि आशीष के लिय आभार व्यक्त करना हमारी मुर्खता होगी ...आप बड़े भाई की तरह यूँ ही अपना आशीष बनाये रक्खे .....कहते है न सरस्वती कभी न कभी जिह्वा पर विराजमान होती है शायद आशीष देते वक्त आपके जिह्वा पर विराजमान थी अतः फलीभूत हो गया ...........हमारा कम्प्यूटर ख़राब होने के कारण देख नहीं पाए थे हम ......:)

At 5:05pm on June 29, 2014, PRAMOD SRIVASTAVA said…

का कहीं राउर परसंसा के काबिल हम बानी की नाही \ जउन सोझा लउके आ मन मताय लगेला बस उहे लिखा जाला

At 1:38pm on June 27, 2014, Sushil Sarna said…

mtrta ke aagrah ko sveekaar krne ka haardik aabhaar

At 6:44pm on January 30, 2014, NEERAJ KHARE said…
BAHUT..BAHUT ..DHANYVAD MISRA JI
At 5:11pm on January 6, 2014, Priyanka singh said…

आभार सर ....आशीर्वाद और स्नेह बनाये रखे ...नव वर्ष की शुभकामनायें आपको भी .....खुश रहे 

At 6:17pm on December 5, 2013, डॉ गोपाल नारायन श्रीवास्तव said…

आदरणीय विजय  जी

आपका शत शत आभार i

आपको ढेर सी शुभ कामनाए  i

At 7:20pm on November 4, 2013, CHANDRA SHEKHAR PANDEY said…

दीपावली की हार्दिक शुभकामनाएँ, माननीय विजय सर।

At 2:12pm on October 8, 2013, शकील समर said…

और इस मंच पर हमसफर भी हूं आदरणीय विजय मिश्रा जी.मार्गदर्शन बनाए रखिएगा.

 
 
 

कृपया ध्यान दे...

आवश्यक सूचना:-

1-सभी सदस्यों से अनुरोध है कि कृपया मौलिक व अप्रकाशित रचना ही पोस्ट करें,पूर्व प्रकाशित रचनाओं का अनुमोदन नही किया जायेगा, रचना के अंत में "मौलिक व अप्रकाशित" लिखना अनिवार्य है । अधिक जानकारी हेतु नियम देखे

2-ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार यदि आपको अच्छा लगा तो अपने मित्रो और शुभचिंतको को इस परिवार से जोड़ने हेतु यहाँ क्लिक कर आमंत्रण भेजे |

3-यदि आप अपने ओ बी ओ पर विडियो, फोटो या चैट सुविधा का लाभ नहीं ले पा रहे हो तो आप अपने सिस्टम पर फ्लैश प्लयेर यहाँ क्लिक कर डाउनलोड करे और फिर रन करा दे |

4-OBO नि:शुल्क विज्ञापन योजना (अधिक जानकारी हेतु क्लिक करे)

5-"सुझाव एवं शिकायत" दर्ज करने हेतु यहाँ क्लिक करे |

6-Download OBO Android App Here

हिन्दी टाइप

New  देवनागरी (हिंदी) टाइप करने हेतु दो साधन...

साधन - 1

साधन - 2

Latest Blogs

Latest Activity

Chetan Prakash commented on Aazi Tamaam's blog post ग़ज़ल: चार पहर कट जाएँ अगर जो मुश्किल के
"अच्छी ग़ज़ल हुई, भाई  आज़ी तमाम! लेकिन तीसरे शे'र के सानी का भाव  स्पष्ट  नहीं…"
15 hours ago

सदस्य टीम प्रबंधन
Saurabh Pandey commented on surender insan's blog post जो समझता रहा कि है रब वो।
"आदरणीय सुरेद्र इन्सान जी, आपकी प्रस्तुति के लिए बधाई।  मतला प्रभावी हुआ है. अलबत्ता,…"
yesterday
Sushil Sarna commented on Sushil Sarna's blog post कुंडलिया. . . .
"आदरणीय सौरभ जी आपके ज्ञान प्रकाश से मेरा सृजन समृद्ध हुआ । हार्दिक आभार आदरणीय जी"
yesterday
Aazi Tamaam posted a blog post

ग़ज़ल: चार पहर कट जाएँ अगर जो मुश्किल के

२२ २२ २२ २२ २२ २चार पहर कट जाएँ अगर जो मुश्किल केहो जाएँ आसान रास्ते मंज़िल केहर पल अपना जिगर जलाना…See More
yesterday
Admin posted a discussion

"ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा" अंक-182

परम आत्मीय स्वजन,ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरे के 182 वें अंक में आपका हार्दिक स्वागत है| इस बार का…See More
yesterday

सदस्य टीम प्रबंधन
Saurabh Pandey added a discussion to the group भोजपुरी साहित्य
Thumbnail

गजल - सीसा टूटल रउआ पाछा // --सौरभ

२२ २२ २२ २२  आपन पहिले नाता पाछानाहक गइनीं उनका पाछा  का दइबा का आङन मीलल राहू-केतू आगा-पाछा  कवना…See More
yesterday

सदस्य टीम प्रबंधन
Saurabh Pandey commented on Sushil Sarna's blog post कुंडलिया. . . .
"सुझावों को मान देने के लिए हार्दिक धन्यवाद, आदरणीय सुशील सरना जी.  पहला पद अब सच में बेहतर हो…"
yesterday
Sushil Sarna posted a blog post

कुंडलिया. . . .

 धोते -धोते पाप को, थकी गंग की धार । कैसे होगा जीव का, इस जग में उद्धार । इस जग में उद्धार , धर्म…See More
Wednesday
Aazi Tamaam commented on लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर''s blog post सुखों को तराजू में मत तोल सिक्के-लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर'
"एकदम अलग अंदाज़ में धामी सर कमाल की रचना हुई है बहुत ख़ूब बधाई बस महल को तिजोरी रहा खोल सिक्के लाइन…"
Tuesday
surender insan posted a blog post

जो समझता रहा कि है रब वो।

2122 1212 221देख लो महज़ ख़ाक है अब वो। जो समझता रहा कि है रब वो।।2हो जरूरत तो खोलता लब वो। बात करता…See More
Tuesday
surender insan commented on Nilesh Shevgaonkar's blog post ग़ज़ल नूर की - ताने बाने में उलझा है जल्दी पगला जाएगा
"आ. भाई नीलेश जी, सादर अभिवादन। अलग ही रदीफ़ पर शानदार मतले के साथ बेहतरीन गजल हुई है।  बधाई…"
Tuesday
Sushil Sarna commented on Sushil Sarna's blog post कुंडलिया. . . .
"आदरणीय सौरभ पाण्डेय जी सृजन के भावों को मान देने तथा अपने अमूल्य सुझाव से मार्गदर्शन के लिए हार्दिक…"
Tuesday

© 2025   Created by Admin.   Powered by

Badges  |  Report an Issue  |  Terms of Service