भक्तिरस के दोहे :देना हो तो दीजिए, प्रभु ऐसा वरदान। मुख से निकले राम जब, प्राण करें प्रस्थान।1।पाना हो जो राम तो , बन जाओ हनुमान। अंतर्घट के तीर पर, करो राम का ध्यान।2।श्रद्धा से पाषाण भी, बन जाते भगवान। बिन श्रद्धा तो राम के , दरस नहीं आसान…Continue
Started by Sushil Sarna. Last reply by Sushil Sarna Aug 13, 2020.
गणपति महाराजा, पूर्ण करो काजा, दयावंत, दयाधारी.गौरी नंदन , दूर करो क्रंदन, जाऊँ मैं बलिहारी.रिद्धि-सिद्धि के स्वामी, अंतर्यामी, तुम हो बड़े दयालु.शरण जो आवे, सब पा जावे, कृपावंत हे कृपालु.बुद्धिमान तुम बुद्धिबल दाता, मूषक तुम्हरी सवारी.हे लम्बोदर,…Continue
Tags: गौरी, नन्दन, विनायक, मंगलमूर्ति, पूज्य
Started by Anita Sharma Oct 5, 2018.
तुलसी :एक सच्चे गुरु'उमा कहेउ मैं अनुभव अपना. सत हरि भजन जगत सब सपना.' इस एक चौपाई में संतकवि तुलसी जीवन के उस परम सत्य से साक्षात् कराते हैं जो सभी ग्रंथों का सार है.यह बात जिस सरलता के साथ देवाधिदेव भगवान शंकर द्वारा माता पार्वती को बताई जा रही है…Continue
Started by Ganga Dhar Sharma 'Hindustan' Aug 25, 2018.
(छंद-उड़ियाना पद, विधान- उड़ियाना-12, 10 अंत में एक गुरू, उड़ियाना पद 12,12,12,10 अंत में एक गुरू)जपत रटत राम नाम, तरना है दुनियाजपत रटत राम नाम, तरना है दुनियाकर्म करत एक घ्येय, एक लक्ष्य एक गेह,भक्ति शक्ति मान रखे, भक्त बड़ा गुनिया ।।स्वार्थ मोह राग…Continue
Started by रमेश कुमार चौहान May 31, 2018.
हरो बाधा सभी हनुमन.....विधाता छंद हरो बाधा सभी हनुमन.........शरण मैं आपकी आया। करो मुझपर कृपा ऐसी,....विमल हो बुद्धि मन काया।। नमन करता सदा भजता,.........हृदय से केशरी नंदन। द्रवित हों अंजनी लाला, पवन सुत सुन विनय वंदन।१। सिया के राम लगते…Continue
Started by Satyanarayan Singh Apr 1, 2018.
मौसे कह गयो थो कान्हाबेगी ही आ जावेगोसलौनी सन्ध्या हो चली हैजाने कब वो आवेगोमाखन देखो सूख गयो हैधूप में कान्हा जब से गयो हैहाय हाय अब मैं का करूँमेरो कान्हा खो गयो है ।देखो ग्वाल सब आये गए हैमाय माय कह बुलाये रहए हैसब के ललना आये गए हैंकान्हा कू…Continue
Started by KALPANA BHATT ('रौनक़') Oct 12, 2017.
राधा राधा नाम रटे, सारे बन्धन तुरंत कटे।आप तरे भवसागर से, युक्त रहे नटनागर से।।नाम धन जो लूटेगा, चौरासी से छूटेगा।।गाएंगे जो प्रेम से, हरि नाम को नेम से।।जो उनसे प्रीत लगाएगा, वो उनका ही हो जाएगा।राधा राधा नाम रटे, सारे बन्धन तुरंत कटे।आप तरे…Continue
Started by डा॰ सुरेन्द्र कुमार वर्मा Aug 29, 2017.
बैरिन बंशी चुराने चली जब तो पहले सकुचा गयी राधा चोरी से चुपके से हौले से धीरे से कान्हा की आँख बचा गयी राधा पूछा किये मुरलीधर श्याम तो लीला अनेक रचा गयी राधा नाच नचाते हैं जो सबको उन्हीं कान्हा को नाच नचा गयी राधामौलिक एवं अप्रकाशितआलोक रावत Continue
Started by Alok Rawat. Last reply by Alok Rawat Aug 29, 2017.
शक्ति के रूप (मौलिक एवं अप्रकाशित )हिमालय की लाली मां, हैं बैल पर सवार |दिव्य रूप हाथ त्रिशूल, सुशोभित पद्म सार || सत्व सत्ता प्रकृति रूप, शिखरों पर हैं धाम |सती यज्ञ से दुर्गा का, ‘ शैलपुत्री ’ है नाम एक हाथ में जप माला, दूजे कमण्डल नीर |तपाचार की…Continue
Started by VINOD GUPTA. Last reply by VINOD GUPTA Sep 6, 2017.
मेरो किशन कन्हाई काहे मोहे तड़पायो ,मो कहूँ आवत नाही कबहू -२ना मुख चंद्र दिखायो ,मेरो किशन कन्हाई काहे मोहे तड़पायो।बहुत सुनिन्ह है तोरे बतिया ,तुम बिन गुजरे ना दिन रतिया ,राधा के ओ मोहन प्यारे -२मोको बहुत सतायो ,मेरो किशन कन्हाई काहे मोहे…Continue
Started by Mohit mishra (mukt). Last reply by Mohit mishra (mukt) Aug 30, 2017.
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