For any Query/Feedback/Suggestion related to OBO, please contact:- admin@openbooksonline.com & contact2obo@gmail.com, you may also call on 09872568228(योगराज प्रभाकर)/09431288405(गणेश जी "बागी")

"OBO लाइव तरही मुशायरे"/"OBO लाइव महा उत्सव"/"चित्र से काव्य तक" प्रतियोगिता के सम्बन्ध मे पूछताछ

"OBO लाइव तरही मुशायरे"/"OBO लाइव महा उत्सव"/"चित्र से काव्य तक" प्रतियोगिता के सम्बन्ध मे यदि किसी तरह की जानकारी चाहिए तो आप यहाँ पूछताछ कर सकते है !

Views: 12543

Reply to This

Replies to This Discussion

मुख्य पृष्ठ के बाईं तरफ देखें आ० सुरेन्द्र इंसान जी, फरवरी माह का कैलेंडर वहाँ लगा हुआ हैI

इस बार का मिसरा -ए-तरह जनाब मख़दूम मुहिउद्दीन साहब की ग़ज़ल से लिया गया है|

 
उन्ही की आँखों के क़िस्से उन्ही के प्यार की बात "

मुफाइलुन     फइलातुन     मुफ़ाइलुन    फइलुन/फेलुन

1212      1122     1212    1121/221/22/112

(बह्र: मुज्‍तस मुसम्मन् मख्बून मक्सूर
रदीफ़ :- की बात 
काफिया :- आर (प्यार, बहार, दयार आदि)

 

जी बेहद शुक्रिया जी आपका आदरणीय।

आदरणीय नमन 

आदरणीय , ग़ज़ल पोस्ट करने की प्रक्रिया बताएं ...

पहले भी एक दो बार प्रयास किया ...पर मुशायरे में भाग लेने से असफल रहा 

कृपया राह दिखाएँ 

शुक्रिया 

मुशायरे की अवधि २४ मार्च  से लेकर २५ मार्च तक है अर्थात मुशायरे में आज मध्य रात्रि के बाद से ग़ज़लें पोस्ट की सकती हैं, रिप्लाई बॉक्स अभी बंद है जो मध्य रात्रि से खुल जायेगा|

मुशायरे का लिंक http://www.openbooksonline.com/forum/topics/81

आदरणीय सादर नमन जी।
क्या ओ बी ओ लाइव तरही मुशायरा अंक 80 का संकलन आ गया है यदि हाँ तो लिंक दे या बताये की मैं कैसे देख सकता हूँ जी।
सादर जी।
आदरणीय नमस्कार
कविता हमे किस ईमेल id पे भेजनी है और क्या हमें केवल कविता भेजनी है उसके नीचे नाम फ़ोन नो इत्यादि नही होना चहिए?

कोई भी रचना सीधे सम्बन्धित आयोजन में पोस्ट करनी होती है भाई राहुल गर्ग जी. मुख्य पेज के बायीं तरफ इस महीने के आयोजनों का केलेंडर है पूरी जानकारी वहां से हासिल कर सकते हैं.    

sir kripya post kaise kahan par karna hai ye batayein kyunki me bilkul naya hun abhi

कृपया बताएं कि 92वें  तरही मुशायरे की ग़ज़ल का संशोधन कब किया जा सकेगा और जानकारी कैसे मिलेगी

आ. अंजलि जी 
आप अपनी मूल प्रति संशोधित   कर लें... जैसे ही राणा भाई को थोडा वक़्त मिलेगा वो  संकलन जारी कर देंगे.. उस समय आप उनसे आग्रह कीजियेगा 
सादर 

आदरणीय राणा प्रताप जी तरही मुशायरा 96 फिराक गोरखपुरी साहब का जो मिसरा दिया गया है मुझे लगता है यह मिसरा कुछ त्रुटि पूर्ण है फिराक साहब की मूल ग़ज़ल का मिसरा यूँ है रात भी नींद भी कहानी भी, हाय क्या चीज़ है जवानी भी। इसकी बह्र फ़ाइलुन फ़ाइलुन मुफाईलुन दी गई है। इस ग़ज़ल के तीसरे सेकंड लास्ट और आखिरी शेर का अवलोकन करने पर इसमें बह्र फ़ाइलातुन मुफाइलुन फैलुन यह मिलती है इस बह्र का निर्वाह होता है तो हम यह मान सकते हैं कि इस मिसरे की बह्र फ़ाइलातुन मुफाइलुन फैलुन है। तो मिसरे के संबंध में है एक तो बह्र स्पष्ट करें और दूसरा मिसरा जो दिया गया है फिराक साहब का ही है या इसमें बदलाव किया गया है।

मेरा भी यही प्रश्न है ।

RSS

कृपया ध्यान दे...

आवश्यक सूचना:-

1-सभी सदस्यों से अनुरोध है कि कृपया मौलिक व अप्रकाशित रचना ही पोस्ट करें,पूर्व प्रकाशित रचनाओं का अनुमोदन नही किया जायेगा, रचना के अंत में "मौलिक व अप्रकाशित" लिखना अनिवार्य है । अधिक जानकारी हेतु नियम देखे

2-ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार यदि आपको अच्छा लगा तो अपने मित्रो और शुभचिंतको को इस परिवार से जोड़ने हेतु यहाँ क्लिक कर आमंत्रण भेजे |

3-यदि आप अपने ओ बी ओ पर विडियो, फोटो या चैट सुविधा का लाभ नहीं ले पा रहे हो तो आप अपने सिस्टम पर फ्लैश प्लयेर यहाँ क्लिक कर डाउनलोड करे और फिर रन करा दे |

4-OBO नि:शुल्क विज्ञापन योजना (अधिक जानकारी हेतु क्लिक करे)

5-"सुझाव एवं शिकायत" दर्ज करने हेतु यहाँ क्लिक करे |

6-Download OBO Android App Here

हिन्दी टाइप

New  देवनागरी (हिंदी) टाइप करने हेतु दो साधन...

साधन - 1

साधन - 2

Latest Blogs

Latest Activity

आशीष यादव added a discussion to the group भोजपुरी साहित्य
Thumbnail

दियनवा जरा के बुझावल ना जाला

दियनवा जरा के बुझावल ना जाला पिरितिया बढ़ा के घटावल ना जाला नजरिया मिलावल भइल आज माहुर खटाई भइल आज…See More
11 hours ago

सदस्य कार्यकारिणी
मिथिलेश वामनकर replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-180
"आदरणीय सौरभ सर, क्या ही खूब दोहे हैं। विषय अनुरूप बहुत बढ़िया प्रस्तुति हुई है। इस प्रस्तुति हेतु…"
Sunday

सदस्य कार्यकारिणी
मिथिलेश वामनकर replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-180
"हार्दिक आभार आदरणीय "
Sunday

सदस्य कार्यकारिणी
मिथिलेश वामनकर replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-180
"आदरणीय चेतन प्रकाश जी प्रदत्त विषय अनुरूप बहुत बढ़िया प्रस्तुति हुई है। इस प्रस्तुति हेतु हार्दिक…"
Sunday

सदस्य कार्यकारिणी
मिथिलेश वामनकर replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-180
"आदरणीय लक्ष्मण धामी जी प्रदत्त विषय अनुरूप बहुत बढ़िया प्रस्तुति हुई है। इस प्रस्तुति हेतु हार्दिक…"
Sunday

सदस्य कार्यकारिणी
मिथिलेश वामनकर replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-180
"हार्दिक आभार आदरणीय लक्ष्मण धामी जी।"
Sunday
लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-180
"आ. भाई सौरभ जी, सादर अभिवादन। प्रदत्त विषय पर सुंदर रचना हुई है। हार्दिक बधाई।"
Sunday
Sushil Sarna posted a blog post

दोहा पंचक. . . शृंगार

दोहा पंचक. . . . शृंगारबात हुई कुछ इस तरह,  उनसे मेरी यार ।सिरहाने खामोशियाँ, टूटी सौ- सौ बार…See More
Sunday
लक्ष्मण धामी 'मुसाफिर' replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-180
"आ. भाई मिथिलेश जी, सादर अभिवादन।प्रदत्त विषय पर सुन्दर प्रस्तुति हुई है। हार्दिक बधाई।"
Sunday

सदस्य टीम प्रबंधन
Saurabh Pandey replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-180
"बीते तो फिर बीत कर, पल छिन हुए अतीत जो है अपने बीच का, वह जायेगा बीत जीवन की गति बावरी, अकसर दिखी…"
Sunday

सदस्य कार्यकारिणी
मिथिलेश वामनकर replied to Admin's discussion "ओ बी ओ लाइव महा उत्सव" अंक-180
"वो भी क्या दिन थे,  ओ यारा, ओ भी क्या दिन थे। ख़बर भोर की घड़ियों से भी पहले मुर्गा…"
Sunday
Ravi Shukla commented on गिरिराज भंडारी's blog post ग़ज़ल - ( औपचारिकता न खा जाये सरलता ) गिरिराज भंडारी
"आदरणीय गिरिराज जी एक अच्छी गजल आपने पेश की है इसके लिए आपको बहुत-बहुत बधाई आदरणीय मिथिलेश जी ने…"
Sunday

© 2025   Created by Admin.   Powered by

Badges  |  Report an Issue  |  Terms of Service