प्यार तो मैं भी करता हूँ ,
पर कहने से डरता हूँ ,
कारण जग विदित हैं ,
उन्हें आरक्षण जो मिला हैं
इसी से डरता हूँ ,
शादी हम से करे ,
आरक्षण का फायदा ,
कही और उठायें ,
कारण यही हैं ,
कदम उठाने से डरता हूँ,
प्यार तो मैं भी करता हूँ ,
Added by Rash Bihari Ravi on July 3, 2010 at 3:30pm —
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अपना दुःख किससे कहू मैं ,
यहा कौन हैं सुनने वाला ,
हर तरफ फैला अन्धियारा ,
धधक रही दहेज की ज्वाला ,
बेटी के बाप तो हमभी हैं ,
बड़ी मुश्किल से पढ़ा पाए ,
हम खाय आधपेट मगर ,
बेटी को हम बी कॉम कराए ,
लड़का बढ़िया खोज रहा हु ,
दहेज़ के बिना हैं परेशानी ,
अब सोचता हु क्यों पढ़ाया ,
जन्मते क्यों नहीं नमक खिलाया ,
मर गई होती ये तब ,
परेशानी ये ना आती अब ,
ये लड़का वालो जरा समझो ,
हम भी पढाये ये तो समझो…
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Added by Rash Bihari Ravi on June 24, 2010 at 4:00pm —
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सुन्दरकांड
जामवंत के बचन सुहाए ! सुनि हनुमंत हर्दय अति भाए !!
तब लगि मोहि परिखेहु तुम्ह भाई ! सहि दुख कंद मूल फल खाई !!
जब लगि आवों सीतहि देखी ! होइहि काजू मोहि हरष बिसेषी !!
यह कहि नाइ सबन्हि कहूँ माथा ! चलेउ हरषि हिएँ धरि रघुनाथा !!
सिंधु तीर एक भूधर सुन्दर ! कौतुक कूदी चढ़ेउ ता ऊपर !!
बार बार रघुबीर संभारी ! तरकेउ पवनतनय बल भारी !!
जेहि गिरि चरन देई हनुमंता ! चलेउ सो गा पाताल तुरंता !!
जिमि अमोध रघुपति कर बाना ! एही भांति चलेउ हनुमाना !!
जलनिधि…
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Added by Rash Bihari Ravi on June 12, 2010 at 7:14pm —
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कुछ बाते जो बुजुर्गो से सुना हु ध्यान देने योग हैं ,
१. नाशवान को महत्व देना ही बंधन हैं ,
२ सत्य ही कलिकाल की तपस्या हैं ,
३. नम्रता से कही हुई कठोर बाते भी अच्छी लगती हैं,
४ वस्तु , ब्यक्ति से सुख लेना महान जड़ता हैं,
५. यदि शांति चाहते हो तो कामना का त्याग करो ,
६. परमात्मा की प्राप्ति में भाव की प्रधानता हैं.
७. सच्ची बात को मान ले ये सत्संग हैं.
८. कiम करते समय भगवान को मत भूलो ,
अच्छा लागे तो गाठ बांघ लो भाई ,
Added by Rash Bihari Ravi on June 12, 2010 at 6:45pm —
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डॉक्टर के पास पहुचे प्यारे प्यारे पिचकू पाड़े ,
बोले डाक्टर साहब क्या काम है पिचकू भाई ,
संग में जो आये बोले, परेशान हैं पिचकू पाड़े ,
बावन जोड़ा पूड़ी रात में ये खाये थे ,
संग में दही तीन किलो उड़ाये थे ,
घर का खाना ये कभी न खाते हैं ,
एक दिन खाकर तीन दिन तक पचाते हैं
सुबह से परेशान हैं, होती हैं खूब दौड़ाई ,
रुक जाये भागम-भाग,जल्दी दे दो कुछ दवाई ,
डाक्टर बोला थोड़ा कम तो खाओ यार ,
उम्र बढ़ी हैं कुछ तो अपना रखो ख्याल ,
डॉक्टर को भी बडे प्यार…
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Added by Rash Bihari Ravi on June 11, 2010 at 8:00pm —
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दिल में सवाल था ,
बड़ा बेमिसाल था ,
लेकिन हम डर डर के ,
अनोखा काम किया ,
था तो सुंदर वो ,
उसको सजाकर मैं ,
अति सुंदर किया ,
जिस के पास भाई ,
अह ना आये ,
उसी का नाम गुरु ,
सही में कहलाये ,
आपने जो कहा ,
वही सर आखो पे ,
मेरे लिए कुछ भी करे ,
सर अब ना डरे ,
डर से अपना ही ,
होना नुकसान था ,
दिल में सवाल था ,
बड़ा बेमिसाल था ,
Added by Rash Bihari Ravi on June 10, 2010 at 2:30pm —
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मैं इंसान हू ,
इंसानियत भूल गया ,
मानवता से कुछ लेना देना नहीं .
वो हमसे कोशो दूर गया ,
आपकी नजर में ,
मानवता के लिए जो हम लड़ते हैं ,
हम अपने फायदा के काम करते हैं ,
जगह जगह पोस्टर लगवाता हू ,
काम से ज्यादा अपना नाम चमकाता हू ,
मैं खुद को इतना बुलंद करना चाहता हू ,
की सामने वाला भींगी बिल्ली लगे ,
मैं इंसान हू ,
इंसानियत भूल गया ,
कोई सड़क पर मर रहा हैं .
पानी के लिए तरस रहा है,
मैं मानवता का पक्षधर हू ,
सरकार ने लाल…
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Added by Rash Bihari Ravi on June 10, 2010 at 1:00pm —
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मैं ना तो कोई तुलसीदास
जो दोहावली सजाऊँ,
ना ही मैं कबीर कोई
कि भजनमाल बुन पाऊँ !
सूरदास की भक्ति कहाँ
जो गीत श्याम के गाऊँ,
ओज सुभद्रा सा भी नहीं,
ना टैगोर का सुर बना पाऊँ !
फिर भी दिल में ये चाहत है,
में दिल की बात सुनाऊँ,
और प्यार दोस्तों का कहता है,
में भी कलम उठाऊँ !
मुझमे ऐसा कुछ भी नहीं,
कि में कुछ भी बन जाऊं,
प्यार आपका होगी वजह,
जो कुछ सार्थक कह पाऊँ !
मित्रों की प्रेरणा शक्ति…
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Added by Rash Bihari Ravi on June 9, 2010 at 2:00pm —
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पेंडुलम .
पेंडुलम यही समझ रहे हो ना मुझे ,
यही भूल अगली सरकार की थी ,
और तुम्हे मिल गया ये मलाई ,
जिसे बारे प्यार से आपस में ,
बाटकर मस्ती से खा रहे हो ,
हमें चाहिए एक होनहार कर्मनिस्ट,
जो समझे हमें जाने हमें ,
और तुम हो की जानना ही नहीं चाहते ,
लोकतंत्र में युवराज दिखा रहे हो ,
यही ना हमें पेंडुलम समझ कर ,
उल्लू बना रहे हो ,
जिस जनता को तूम उल्लू समझ रहे हो ,
ओ सब जानती हैं ,
कोई पानी तक नहीं मांगता ,
जब ओ मरती हैं…
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Added by Rash Bihari Ravi on June 9, 2010 at 12:55pm —
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नेट पे होती है बाते ,
फिर होती है मुलाकाते ,
यारो दिल की सुनो ,
कहता हु दोस्ती के नाते,
ये तो सुनहरा मौका ,
देता हैं (ओ बी ओ )
प्यार से मिलो और ,
प्यार में ही जिओ ,
गुरु के संग गणेश जी ,
और सतीश जी ,
पावन स्थल पटना,
मंदिर महाबीर की ,
तीनो जो हम मिले ,
दोस्ती दिल के खिले ,
लगता नहीं था यारो ,
पहली बार हम मिले ,
बरसो की दोस्ती हो ,
हो बरसो से मिलते रहे ,
दिल में बहुत हैं बाते ,
और मैं क्या कहू…
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Added by Rash Bihari Ravi on June 3, 2010 at 4:00pm —
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क्यों मुझे सताती हो यैसे एक झलक दिखलाकर ,
क्या मिलता हैं तुझको यैसे में मुझे तरपाकर ,
जानती हो तुझको ही चाहू रखा हु दिल में बसाकर ,
सातों जनम का साथ हैं अपना साबित करू अपनाकर ,
क्यों मुझे सताती हो यैसे एक झलक दिखलाकर ,
मेरी नेह के नाता जानम तेरी सुन्दर काया नहीं ,
जनम जनम का प्रीत का खेल तब मिले हम यही ,
एक बार तू पास तो आओ मुझे समझो अंग लगाकर ,
बात मेरी मनो मुझको जानो देखो न नजर मिलकर ,
क्यों मुझे सताती हो यैसे एक झलक दिखलाकर ,
Added by Rash Bihari Ravi on May 28, 2010 at 2:30pm —
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हा मैं पिता हु ,
और मुझे गर्व हैं ,
की मैं पिता हु ,
माँ को दुःख था ,
की मैं पिता नहीं हु ,
घर वाले परेशान रहते थे ,
की मैं पिता नहीं हु ,
आज मैं पिता हु ,
सब खुस हैं ,
माँ रहती तो ओ भी ,
खुश होती ,
मेरी पत्नी कहती हैं ,
की मैं पिता हु ,
कसम से मैं झूठ नहीं बोलता ,
मैं पिता हु ,
अपने दो बच्चो का पिता हु ,
Added by Rash Bihari Ravi on May 25, 2010 at 1:43pm —
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आज सुबह मैंगलोर में जो बिमान दुर्घटना हुआ, ओ टी भी पर देख के बड़ा दुःख हुआ जो लोग गुजर गए भगवन उनके आत्मा के सान्ती दे ,
Added by Rash Bihari Ravi on May 22, 2010 at 3:22pm —
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ओ दिल्ली वालो ,
हमें इतना बताओ ,
हिन्दुस्ता पे जो खाज परे हैं ,
उसको कब मिटाओगे ,
अफजल गुरु को ,
फासी कब चढाओगे ,
हिन्दुस्ता पे बहुत ऐसे खाज हैं ,
उसको मिटाना जरुरी आज हैं ,
मेहमान बनाके कब तक ,
पैसा लुटाओगे ,
अफजल गुरु को ,
फासी कब चढाओगे ,
मेरी नहीं ये ,
देश की मांग हैं ,
आपको तो भोट दीखता ,
हमें हिंदुस्तान हैं ,
हिंद में ख़ुशी का ,
दिन कब लावोगे ,
अफजल गुरु को ,
फासी कब चढाओगे ,
हिन्दू ,…
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Added by Rash Bihari Ravi on May 20, 2010 at 2:10pm —
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माओबादी के झंडा तले फुकने मत दो हिंदुस्तान ,
जनता माफ़ नहीं करेगी बोलेगी शैतान ,
जनता के नाम पर हिंदुस्तान को जला रहे हो ,
बिदेसी पैसा ले ले कर मौज मस्ती मन रहे हो ,
कब तक डरेगी जनता जिसे तू डरा रहे हो ,
जिस दिन डरना बंद करेगी हो जाओगे परेशान ,
माओबादी के झंडा तले फुकने मत दो हिंदुस्तान ,
झारखण्ड , छत्तीसगढ़ बंगाल में हाहाकार मचाये ,
बिहार में भी तुमने करोरो का तेल जलाये ,
मारते हो आम आदमी को जिसदिन ओ जागेगा ,
नजर नहीं आओगे मिट जायेगा नमो निसान…
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Added by Rash Bihari Ravi on May 20, 2010 at 1:41pm —
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आत्म हत्या के नयाब तरीका ,
कोई केश नहीं बनेगा ,
पकडे जाने पर मुकदमा नहीं चलेगा ,
अब तो आप जानना चाहेंगे ,
आत्म हत्या के नयाब तरीका ,
दोस्ती से सुरु होती हैं,
आन बान शान तक जाती हैं ,
कभी जान कर ,
तो कभी अनजाने में ,
लोग अपनाते हैं ,
आत्म हत्या के नयाब तरीका ,
आइये आपकी इंतजार ख़तम करे ,
तो सबसे पाहिले ,
तम्बाकू सेवन करे ,
इससे काम न बने तो ,
शराब को अपनाये ,
साथ में सिगरेट या ,
सिंगर जलाये ,
और जल्दी हो तो…
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Added by Rash Bihari Ravi on May 13, 2010 at 5:13pm —
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ओपन बुक्स ऑनलाइन पे आपका स्वागत हैं ,
ओपन बुक्स ऑनलाइन तो आप का अपना घर है ,
सुबह से साम तक रहता आपका इंतजार हैं ,
ओपन बुक्स ऑनलाइन पे आपका स्वागत हैं ,
गजले योगराज प्रभाकर, आशा पाण्डेय, अलीम के ,
इनका भी जबाब कहा भाई विवेक, सतीश मपतपुरी हैं ,
आइये ओपन बुक्स ऑनलाइन पे आपका स्वागत हैं ,
कविता पे राज करे बहन रजनी छाबरा ,
संग राजू की रचना बिरेश, अर्पण की मस्ती हैं,
आइये ओपन बुक्स ऑनलाइन पे आपका स्वागत हैं ,
लेख रतनेश और अभिषेक , अमरेंदर…
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Added by Rash Bihari Ravi on May 13, 2010 at 3:46pm —
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कास मैं होता कुत्ता अयरा गैरा नहीं एलसिसियन ,
अयरे गैरे रोड पर मरे परे मिलते हैं ,
खाने के लिए रोटी नहीं मिलती ओ भी सुखी .
दूध मलाई मांस का टुकरा तो खाता,
अगर होता मैं एलसिसियन कुत्ता ,
चलने के लिए सायकल नहीं मिलती ओ भी टुट्टी,
कर के पिछले सिट पर आराम से जाता ,
अगर होता मैं एलसिसियन कुत्ता ,
सोने के लिए टाट नहीं मिलती ओ भी फट्टी,
मखमली गद्दे पर आराम से सोता ,
अगर होता मैं एलसिसियन कुत्ता ,
ये प्रभु इ गलती को फिर मत दुहराना ,
अगले जनम…
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Added by Rash Bihari Ravi on May 10, 2010 at 3:33pm —
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सुक्रिया, सुक्रिया, आपको सुक्रिया,
आपने जो दिल मुझको दिया ,
सुक्रिया, सुक्रिया, आपको सुक्रिया,
आपही से दिन मेरा होता हैं सुरु ,
आपही साम ढले रात होती है सुरु ,
रात हुई सपनों में दरस दिया ,
सुक्रिया, सुक्रिया, आपको सुक्रिया,
कब तलक यैसे मुझे तुम सताओगे ,
चुपके छुपके मिलने कब तक बुलाओगे ,
आपको ही सनम दिल ये दिया ,
सुक्रिया, सुक्रिया, आपको सुक्रिया,
आपका मैं हुआ ये अब जानिए ,
आपही मेरे पिया ओ हजूर मानिये ,
ओ पिया ओ पिया सुक्रिया,…
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Added by Rash Bihari Ravi on May 8, 2010 at 2:00pm —
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मेरी मुहब्बत थोरी जुदा हैं ,
मेरा ये दिल तुमपे फ़िदा हैं ,
तेरी अदा मुझको तो भाए ,
तेरी सूरत मन में सजाये ,
तुही तो अब मेरा खुदा हैं ,
मेरी मुहब्बत थोरी जुदा हैं ,
तेरे लिए ही जीना ,
तेरे लिए ही मरना ,
जब तक हैं जीवन ,
तुमसे ही प्यार करना ,
प्यार तू करले प्यार ,
प्यार तू करले यार ,
कातिल बड़ी तेरी अदा हैं ,
मेरी मुहब्बत थोरी जुदा हैं ,
मैं तो ये कहना चाहू ,
बात मेरी मान जा ,
दिल मेरा क्या चाहे ,
ये…
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Added by Rash Bihari Ravi on May 7, 2010 at 2:47pm —
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