महफिलों से एक दिन जाना ही है ।
आख़िरश अंजामे दिल तनहा ही है ।
क्या हुआ जो आज मै तड़पा बहुत,
मुद्दतों से दिल मेरा तड़पा ही है ।
मै तुम्हे अपनी हकीकत क्या कहूँ,
तुमने जो सोचा तुम्हे करना ही है ।
प्यार के सपने बिखर कर चूर हैं,
प्यार भी शायद कोई सपना ही है ।
प्यार में दिल टूटना क्यों आम है,
सब ये कहते हैं कि ये…
Added by Neeraj Nishchal on February 18, 2018 at 1:56am — 3 Comments
इश्क कुछ इस तरह निबाह करो ।
तुम मुझे और भी तबाह करो ।
तोड़ दो दिल तो कोई बात नहीं,
टूटे दिल मे मगर पनाह करो ।
मै अगर कुछ नहीं तुम्हारा हूँ,
दर्द पर मेरे तुम न आह करो ।
चाहना तुमको मेरी फितरत है,
तुम भले ही न मेरी चाह करो ।
तुम सजा पर सजा सुना दो पर,
मत कहो मुझसे मत गुनाह करो ।
आज कुछ यूँ मुझे सताओ तुम,
ग़ज़ल पर मेरी वाह वाह करो ।
नीरज मिश्रा
मौलिक व अप्रकाशित
Added by Neeraj Nishchal on February 15, 2018 at 5:26am — 4 Comments
दर्द में ऐसे जलता है दिल ।
मोम जैसे पिघलता है दिल ।
यादों में ही रहे बेकरार,
यादों में ही बहलता है दिल ।
दर बदर ठोकरें मिल रहीं,
पर भला कब सँभलता है दिल ।
कुछ कभी तो कभी है ये कुछ ,
लमहा लमहा बदलता है दिल ।
तनहा तनहा किसी शाम सा,
होके वीरान ढलता है दिल ।
प्यार का कोई दरिया सा है,
जिसमें हर वक्त घुलता है दिल ।
नीरज मिश्रा
मौलिक व अप्रकाशित
Added by Neeraj Nishchal on February 14, 2018 at 12:18am — 6 Comments
होके मजबूर तेरी गलियों से जाना होगा ।
अब खुदा जाने कहाँ अपना ठिकाना होगा ।
मै मना पाया न रब को न तेरे दिल को,
अब तो तनहाई में खुद को ही मनाना होगा ।
जान मेरी मै बिना तेरे जियूँगा लेकिन,
मेरे जीने में न जीने का बहाना होगा ।
तनहा होकर भी रहूँगा न कभी तनहा,
तेरी यादों का मेरे साथ ज़माना होगा ।
हर रजा अपनी मै हारूँगा रजा पर तेरी,
प्यार जब कर ही लिया है तो निभाना होगा ।
प्यार का नाम फकत प्यार को…
ContinueAdded by Neeraj Nishchal on February 13, 2018 at 9:37am — 10 Comments
कुछ कह न सकूं राहे दिल पर बरबाद हूँ या आबाद हूँ मै ।
रहती है तेरी याद मुझे या खुद ही तेरी याद हूँ मै ।
ठुकराया भी तुमसे न गया अपनाया भी तुमसे न गया,
उल्फत के दर फरियादी की इक टूटी सी फरियाद हूँ मै ।
मैं जिस्म हूँ कोई माटी का इस जिस्म की जान तुम्ही तो हो,
कुछ भी न तुम्हारे पहले था कुछ भी न तुम्हारे बाद हूँ मै ।
ये दर्दे जुदाई भी तेरी ये इश्के खुदाई भी तेरी,
तेरे गम में गमगीन फिरूँ तेरे मद…
Added by Neeraj Nishchal on February 12, 2018 at 12:30am — 2 Comments
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