टला फैसला दस दफा, लगी दफाएँ बीस |
अंध-न्याय की देवि ही, खड़ी निकाले खीस |
खड़ी निकाले खीस, रेप वह भी तो झेले |
न्याय मरे प्रत्यक्ष, कोर्ट के सहे झमेले |
नाबालिग को छूट, बढ़ाए विकट हौसला |
और बढ़ेंगे रेप, अगर यूँ टला फैसला ||
.
मौलिक / अप्रकाशित
Added by रविकर on August 31, 2013 at 6:30pm — 11 Comments
वंशीधर का मोहना, राधा-मुद्रा मस्त ।
नाचे नौ मन तेल बिन, किन्तु नागरिक त्रस्त ।
किन्तु नागरिक त्रस्त, मगन मन मोहन चुप्पा ।
पाई रहा बटोर, धकेले लेकिन कुप्पा ।
बीते बाइस साल, हुई मुद्रा विध्वंशी ।
चोरों की बारात, बजाये रविकर वंशी ॥
मौलिक / अप्रकाशित
Added by रविकर on August 29, 2013 at 8:30am — 12 Comments
मौलिक / अप्रकाशित
हाकी काकी सी सरस, क्रिकेट बुआ हमार |
राखी भैया-द्वीज पर, पा विशेष उपहार |
पा विशेष उपहार, हार हीरों का पाई |
जाए हीरो हार, करोड़ों किन्तु कमाई |
काकी का कर्तव्य, करे नित सेवा माँ की |
लेडी मेवा खाय, खूब चीयर हा हा की ||
Added by रविकर on August 27, 2013 at 12:00pm — 6 Comments
मौलिक / अप्रकाशित
"पक्के-बाड़े" में पिले , जबसे सु-वर तमाम ।
मल-मलबा से माल तक, खाते सुबहो-शाम ।
खाते सुबहो-शाम, गगन-जल-भूमि सम्पदा ।
करें मौज अविराम, इधर बढ़ रही आपदा ।
उनको सुवर हराम, अहिंसा अपने आड़े ।
"मत" हिम्मत से मार, शुद्ध कर "पक्के-बाड़े" ।।
Added by रविकर on August 22, 2013 at 8:58am — 6 Comments
मौलिक / अप्रकाशित
उखड़े मुखड़े पर उड़े, हवा हवाई धूल ।
आग मूतते हैं बड़े, गलत नीति को तूल ।
गलत नीति को तूल, रुपैया सहता जाए ।
डालर रहा डकार, कौन अब लाज बचाए ।
बहरा मोहन मूक, नहीं सुन पाए दुखड़े ।
हारे भारत दाँव, सदन हत्थे से उखड़े ॥
Added by रविकर on August 20, 2013 at 1:42pm — 5 Comments
मौलिक / अप्रकाशित
गुड्डी-गुड़ी गुमान में, ऊँची भरे उड़ान |
पेंच लड़ाने लग पड़ी, दुष्फल से अन्जान |
दुष्फल से अन्जान, जान जोखिम में डाली |
आये झँझावात, काट दे माँझा-माली |
लग्गी लेकर दौड़, लगाने लगे उजड्डी |
सरेआम लें लूट, गिरी माँझा बिन गुड्डी ||
Added by रविकर on August 17, 2013 at 2:43pm — 5 Comments
आवश्यक सूचना:-
1-सभी सदस्यों से अनुरोध है कि कृपया मौलिक व अप्रकाशित रचना ही पोस्ट करें,पूर्व प्रकाशित रचनाओं का अनुमोदन नही किया जायेगा, रचना के अंत में "मौलिक व अप्रकाशित" लिखना अनिवार्य है । अधिक जानकारी हेतु नियम देखे
2-ओपन बुक्स ऑनलाइन परिवार यदि आपको अच्छा लगा तो अपने मित्रो और शुभचिंतको को इस परिवार से जोड़ने हेतु यहाँ क्लिक कर आमंत्रण भेजे |
3-यदि आप अपने ओ बी ओ पर विडियो, फोटो या चैट सुविधा का लाभ नहीं ले पा रहे हो तो आप अपने सिस्टम पर फ्लैश प्लयेर यहाँ क्लिक कर डाउनलोड करे और फिर रन करा दे |
4-OBO नि:शुल्क विज्ञापन योजना (अधिक जानकारी हेतु क्लिक करे)
5-"सुझाव एवं शिकायत" दर्ज करने हेतु यहाँ क्लिक करे |
© 2024 Created by Admin. Powered by
महत्वपूर्ण लिंक्स :- ग़ज़ल की कक्षा ग़ज़ल की बातें ग़ज़ल से सम्बंधित शब्द और उनके अर्थ रदीफ़ काफ़िया बहर परिचय और मात्रा गणना बहर के भेद व तकतीअ
ओपन बुक्स ऑनलाइन डाट कॉम साहित्यकारों व पाठकों का एक साझा मंच है, इस मंच पर प्रकाशित सभी लेख, रचनाएँ और विचार उनकी निजी सम्पत्ति हैं जिससे सहमत होना ओबीओ प्रबन्धन के लिये आवश्यक नहीं है | लेखक या प्रबन्धन की अनुमति के बिना ओबीओ पर प्रकाशित सामग्रियों का किसी भी रूप में प्रयोग करना वर्जित है |