नीयत हो यदि साफ़ हमारी बाबाजी
नियति भी तब लगेगी प्यारी बाबाजी
पुस्तक, सी डी और दवायें बेच रहे
सन्त नहीं, वे हैं व्यापारी बाबाजी
कोई किसी का सगा नहीं है दुनिया में…
Added by Albela Khatri on July 21, 2012 at 11:00am — 19 Comments
सुर है लेकिन ताल नहीं है बाबाजी
पॉकेट है पर माल नहीं है बाबाजी
क्योंकर कोई चूमे हमको सावन में
अपने चिकने गाल नहीं है बाबाजी
दर्पण से उनको नफ़रत हो जाती है…
Added by Albela Khatri on July 20, 2012 at 12:00am — 32 Comments
हमारे प्यारे काका राजेश खन्ना के देहावसान पर अलबेला खत्री की शब्दांजलि
छन्न पकैया - छन्न पकैया, कहाँ चले तुम काका
छोड़ के अपना देश आपने रुख ये किया कहाँ का
छन्न पकैया - छन्न पकैया, मुमताज़ रो पड़ेगी
दो दो हीरो एक साथ गये, दुःखड़ा किसे कहेगी…
Added by Albela Khatri on July 19, 2012 at 12:40am — 18 Comments
नयन लड़ाना पाप नहीं है बाबाजी
प्यार जताना पाप नहीं है बाबाजी
अगर पड़ोसन पट जाये तो उसके घर
आना - जाना पाप नहीं है बाबाजी
बीवी बोर करे तो कुछ दिन साली से
काम चलाना पाप नहीं है बाबाजी
पत्नी रंगेहाथ पकड़ ले तो उसके
पाँव दबाना पाप नहीं है बाबाजी
रोज़ सुबह उठ, अपनी पत्नी की खातिर
चाय बनाना पाप नहीं है बाबाजी
वेतन से यदि कार खरीदी न जाये
रिश्वत खाना पाप नहीं है बाबाजी
'अलबेला' हर व्यक्ति यहाँ…
Added by Albela Khatri on July 13, 2012 at 7:30pm — 30 Comments
झूमो, नाचो, मौज मनाओ बाबाजी
जीवन का आनन्द उठाओ बाबाजी
ये क्या, जब देखो तब रोते रहते हो ?
घड़ी दो घड़ी तो मुस्काओ बाबाजी
मुझ जैसे मसखरे का चेला बन जाओ
दिवस रैन दुनिया को हँसाओ बाबाजी
ये सब नेता रक्तपिपासु कीड़े हैं
इनसे मत कुछ आस लगाओ बाबाजी
जनता के दुःख को जो अपना दुःख समझे
अब ऐसी सरकार बनाओ बाबाजी
एक मिनट में ऐसी-तैसी कर देगी
बीवी को मत आँख दिखाओ बाबाजी
ओ बी ओ की परिपाटी है…
Added by Albela Khatri on July 13, 2012 at 9:00am — 34 Comments
रुस्तमे-हिन्द दारासिंह के देहावसान पर उनके प्रशंसक अलबेला खत्री की विनम्र शब्दांजलि
नील गगन के पार गया है बाबाजी
छोड़ के यह संसार गया है बाबाजी
हरा सका न कोई जिसे अखाड़े में
मौत से वह भी हार गया है बाबाजी
देवों को कुछ दाव सिखाने कुश्ती के
कुश्ती का सरदार गया है बाबाजी
अपनी माता के संग भारत माता का
सारा क़र्ज़ उतार गया है बाबाजी
हाय! रुस्तमे-हिन्द को कैसा रोग लगा
हर इलाज बेकार गया है…
Added by Albela Khatri on July 12, 2012 at 9:30pm — 25 Comments
हाय ! ये कैसा मौसम आया बाबाजी
देख के मेरा मन घबराया बाबाजी
पूरब में तो बाढ़ का तांडव मार रहा
उत्तर में है सूखा छाया बाबाजी
भीषण गर्मी के…
Added by Albela Khatri on July 12, 2012 at 8:30am — 15 Comments
सावन आया झूम झूम के बाबाजी
बजे नगाड़े धूम धूम के बाबाजी
छोरे ने छोरी के गाल भिगो डाले
चूम चूम के, चूम चूम के बाबाजी
घाट घाट का पानी पीने वालों ने
कपड़े पहने लूम लूम के बाबाजी
आँगन,वेह्ड़ा और वरांडा मत ढूंढो…
Added by Albela Khatri on July 10, 2012 at 9:00pm — 18 Comments
क्या बतलाऊं हाल देश का बाबाजी
झगड़ा, टंटा, हठ, क्लेश का बाबाजी
माल स्वदेशी कौन ख़रीदे भारत में
सबको चस्का है विदेश का बाबाजी
कालिख भ्रष्टाचार की किस दिन जायेगी
धोला हो गया रंग केश का बाबाजी
पाखंडियों ने इतना…
Added by Albela Khatri on July 10, 2012 at 12:15pm — 18 Comments
भीनी भीनी मीठी मीठी
मधुर सुगन्ध लिए
साहित्य विहार में बहार देवनागरी
बिखरी अनेकता को
एकता में जोड़ती है
तार तार से जुड़ी सितार देवनागरी
नेताजी,पटेल,लाला
लाजपत राय जैसे
क्रान्तिकारियों की तलवार देवनागरी
तुलसी,कबीर,सूर,
रहीम,बिहारी,मीरा,
रसखान से फूलों का हार देवनागरी
Added by Albela Khatri on June 26, 2012 at 11:00pm — 12 Comments
कितनी महंगी रेल हो गई बाबाजी
पैसेन्जर भी मेल हो गई बाबाजी
आदर्शों को फांसी दे दी दिल्ली ने
नैतिकता को जेल हो गई बाबाजी
सुख के बादल बिखर गये हैं बिन बरसे
दुःख की धक्कमपेल हो गई बाबाजी
नकल हो रही पास आज विद्यालय में
और पढ़ाई फेल हो गई बाबाजी
आई पी एल की हाट में हमने देखा है
खिलाड़ियों की सेल हो गई बाबाजी
खादी वाले खड़े - खड़े खा जाते हैं
भोली जनता भेल हो गई बाबाजी
लोकराज ने लज्जा का…
Added by Albela Khatri on June 25, 2012 at 5:00pm — 41 Comments
हांग कांग की छटा है प्यारी बाबाजी
पर भारत की बात ही न्यारी बाबाजी
प्यार मिला, सम्मान मिला इस महफ़िल में
ओ बी ओ पर मैं बलिहारी बाबाजी
रूपया रोक न पाया ख़ुद को गिरने से
डॉलर ने वो बाज़ी मारी बाबाजी
ममता,ललिता,सुषमा तीनों गायब हैं
तन्हा रह गये अटल बिहारी बाबाजी
कौन बनेगा सदर हमारे भारत का
ये भी संकट है इक भारी बाबाजी
चाट पकौड़ी खाओ, किरपा आएगी
कहते बाबा लीलाधारी बाबाजी
'अलबेला' की इस…
Added by Albela Khatri on June 25, 2012 at 10:00am — 33 Comments
प्यारे मित्रो हमारे लाड़ले बाबाजी आज चार दिन की विदेश यात्रा पर जा रहे हैं इसलिए अगली मुलाक़ात 25 जून को ही होगी, परन्तु जाते जाते भी बाबाजी से रहा नहीं गया . ये आपके समक्ष अपनी नई रचना परोसने के लिए मरे जा रहे हैं . इसलिए ओ बी ओ के मंच पर प्रस्तुत है यह नूतन तुकबंदी :
बड़े…
Added by Albela Khatri on June 21, 2012 at 8:12am — 15 Comments
बांहें दी पसार मैंने,
कर दी पुकार मैंने,
आओ आओ आओ मेरे गले लग जाइए
दामिनी सी चंचल मैं,
फूल जैसी कोमल मैं,
मेरी ओजस्वी आँखों से आँख तो मिलाइए
आज किलकारी हूँ मैं,
कल फुलवारी हूँ मैं,
भारत की नारी हूँ मैं, मेरे पास आइये
वंश को बढ़ाना हो तो,
देश को बचाना हो तो,
भ्रूणहत्या रोक कर, बेटी को बचाइये
___जय हिन्द !
Added by Albela Khatri on June 19, 2012 at 8:30pm — 12 Comments
इस दुनिया में कौन सुखी है बाबाजी
जिसको देखो, वही दु:खी है बाबाजी
तुम तो केवल चखना लेकर आ जाओ
बोतल हमने खोल रखी है बाबाजी
इसकी चन्द्रमुखी है, उसकी सूर्यमुखी
मेरी ही क्यों ज्वालमुखी है बाबाजी
रिश्वत की मदिरा फिर उससे न छूटी
जिसने भी इक बार चखी है बाबाजी
बाप से बढ़ कर कौन सखा हो सकता है
माँ से बढ़ कर कौन सखी है बाबाजी
काम अपना जी जान से करने वालों ने
अपनी किस्मत आप लिखी है बाबाजी
पथ के…
Added by Albela Khatri on June 16, 2012 at 5:00pm — 15 Comments
तुम भी खाओ, हम भी खायें बाबाजी
आओ, मिल कर देश चबायें बाबाजी
राजनीति में किसी तरह घुस जाएँ तो
जीवन भर आनन्द मनायें बाबाजी
चोर - चोर मौसेरे भाई हैं तो फिर…
Added by Albela Khatri on June 15, 2012 at 10:22pm — 18 Comments
बोतल पर क्यों डाट लगादी बाबाजी
मखमल में क्यों टाट लगादी बाबाजी
हमने जिसको जो भी ज़िम्मेदारी…
Added by Albela Khatri on June 14, 2012 at 8:33pm — 18 Comments
करोड़ों दिलों पर राज करने वाले शहंशाह-ए-ग़ज़ल एवं लोक लाड़ले स्वर सम्राट जनाब मेहदी हसन के देहावसान से हमें बहुत दुःख पहुंचा है .
उनकी आत्मिक शान्ति के लिए परम पिता से प्रार्थना करते हुए एक ग़ज़ल के रूप में दिवंगत आत्मा को विनम्र श्रद्धांजलि :
आँख ग़ज़ल…
Added by Albela Khatri on June 14, 2012 at 11:30am — 12 Comments
ओ बी ओ परिवार के समस्त स्वजनों को अलबेला खत्री का विनम्र प्रणाम .
एक शो और एक शूटिंग के चलते मैं तीन दिन सूरत से बाहर रहा . इसलिए यहाँ हाज़िरी नहीं दे पाया . परन्तु अच्छा ये रहा कि महा उत्सव में एक कुंडलिया और एक घनाक्षरी मैंने टी वी पर भी सुनाई तो लोगों ने ख़ूब सराहा . बाबाजी वाली एक ग़ज़ल भी …
Added by Albela Khatri on June 13, 2012 at 7:27pm — 24 Comments
रामदेव से मिल गये अन्ना बाबाजी
राहुल की माँ रह गई भन्ना बाबाजी
काला धन यदि सचमुच वापिस आया तो…
Added by Albela Khatri on June 9, 2012 at 12:00pm — 19 Comments
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